शुक्रवार, दिसम्बर 19, 2025

Vande Mataram: अमित शाह ने विरोधियों को दी नसीहत, कहा- अपनी सोच पर नए सिरे से विचार करें

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New Delhi News: केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने राज्यसभा में ‘वंदे मातरम्’ के 150 वर्ष पूरे होने पर चर्चा की। उन्होंने इसे राष्ट्र चेतना और त्याग का प्रतीक बताया। शाह ने विरोधियों को जवाब देते हुए कहा कि इस पर सवाल उठाने वालों को अपनी सोच बदलनी चाहिए।

समर्पण और भविष्य की नींव

अमित शाह ने कहा कि ‘वंदे मातरम्’ के प्रति समर्पण आजादी के समय भी था और आज भी है। जब 2047 में महान भारत बनेगा, तब भी यह जरूरी रहेगा। यह अमर रचना भारत माता के प्रति भक्ति और कर्तव्य का भाव जगाती है।

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बंगाल चुनाव और राजनीति

कुछ लोग इस चर्चा को पश्चिम बंगाल चुनाव से जोड़कर देख रहे हैं। गृह मंत्री ने साफ कहा कि ऐसा करके वे राष्ट्रीय गीत की गरिमा कम कर रहे हैं। जिन्हें चर्चा के समय पर आपत्ति है, उन्हें अपनी समझ सुधारनी होगी।

आजादी और बलिदान का प्रतीक

शाह ने याद दिलाया कि बंकिमचंद्र चटर्जी ने भले ही इसे बंगाल में लिखा था, लेकिन यह पूरे देश में फैल गया। यह गीत दुनिया भर में आजादी की लड़ाई लड़ रहे लोगों की आवाज बन गया। यह किसी एक क्षेत्र तक सीमित नहीं था।

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सर्वोच्च बलिदान और राष्ट्रभक्ति

सीमा पर जवान या पुलिसकर्मी जब देश के लिए जान देते हैं, तो उनके होठों पर ‘वंदे मातरम्’ ही होता है। यह गीत विदेशी संस्कृति थोपने की कोशिशों के खिलाफ लिखा गया था। यह देशभक्ति और राष्ट्रीय चेतना का सबसे बड़ा प्रतीक बन चुका है।

Poonam Sharma
Poonam Sharma
एलएलबी और स्नातक जर्नलिज्म, पत्रकारिता में 11 साल का अनुभव।

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