Jammu News: नए साल पर वैष्णो देवी (Vaishno Devi) जाने वाले भक्तों के लिए बड़ी खबर है। श्राइन बोर्ड ने यात्रा के नियमों में बड़ा बदलाव किया है। अब आपको RFID कार्ड मिलने के 10 घंटे के भीतर चढ़ाई शुरू करनी होगी। दर्शन के बाद 24 घंटे में वापस लौटना भी अनिवार्य कर दिया गया है। यह नियम तत्काल प्रभाव से लागू हो गए हैं। यह फैसला नववर्ष पर होने वाली भारी भीड़ को देखते हुए लिया गया है।
नए नियमों से क्या बदलेगा?
पहले वैष्णो देवी (Vaishno Devi) यात्रा कार्ड (RFID) मिलने के बाद समय की कोई सख्त पाबंदी नहीं थी। भक्त अपनी मर्जी से कभी भी चढ़ाई शुरू कर सकते थे। वापसी के लिए भी कोई समय सीमा तय नहीं थी। इससे कई बार ट्रैक पर बहुत ज्यादा भीड़ हो जाती थी। लेकिन अब ऐसा नहीं होगा। श्राइन बोर्ड का कहना है कि यह बदलाव सुरक्षा और आपात स्थिति से निपटने के लिए जरूरी था।
क्या है RFID कार्ड?
वैष्णो देवी (Vaishno Devi) यात्रा के लिए RFID कार्ड बहुत महत्वपूर्ण है। यह एक छोटा इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस है। यह रेडियो तरंगों के जरिए काम करता है। इससे श्राइन बोर्ड को यात्रियों की सही संख्या और उनकी लोकेशन का पता चलता है। सुरक्षा के लिहाज से यह बेहद अहम है। हर यात्री को चढ़ाई शुरू करने से पहले इसे लेना होता है।
दर्शन में कितना समय लगता है?
कटड़ा से भवन की दूरी करीब 13 किलोमीटर है। सामान्य तौर पर पैदल यात्रा में आने-जाने में 12 से 24 घंटे लगते हैं। अगर आप हेलिकॉप्टर लेते हैं तो 4 से 6 घंटे लग सकते हैं। भीड़ होने पर दर्शन में 48 घंटे तक का समय लग सकता है। वैष्णो देवी (Vaishno Devi) पहुंचने के लिए आप ट्रेन से सीधे कटड़ा या हवाई जहाज से जम्मू आ सकते हैं।
भक्तों को मिलेगी बेहतर सुविधा
इन नियमों से वैष्णो देवी (Vaishno Devi) के रास्ते पर जाम कम लगेगा। इससे महिलाओं, बच्चों और बुजुर्गों को चढ़ाई में आसानी होगी। ठंड और बीमारी का खतरा भी कम होगा। श्राइन बोर्ड ने यात्रियों की सुविधा के लिए कटड़ा रेलवे स्टेशन पर रजिस्ट्रेशन केंद्र रात 12 बजे तक खोल दिया है। बोर्ड का उद्देश्य भक्तों को सुरक्षित और जल्द दर्शन कराना है।
