World News: अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने इजरायल का दौरा किया। यह दौरा ऐसे समय में हुआ जब हमास के साथ दो साल से चल रहा संघर्ष समाप्त हुआ है और इजरायली बंधक रिहा हुए हैं। ट्रंप ने इजरायल की संसद कनेसेट में एक भावुक भाषण दिया। इस दौरान प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने उन्हें देश के सर्वोच्च नागरिक सम्मान से सम्मानित किया।
ट्रंप ने अपने भाषण में कहा कि आज बंदूकें खामोश हैं और सायरन नहीं बज रहे। उन्होंने कहा कि ईश्वर की कृपा से यह क्षेत्र अब हमेशा के लिए शांति की ओर बढ़ेगा। अमेरिकी राष्ट्रपति ने 20 बंधकों की सुरक्षित वापसी को समझौते की बड़ी सफलता बताया। उन्होंने इसे सद्भाव की शुरुआत करार दिया।
नेतन्याहू ने की ट्रंप की प्रशंसा
इजरायली प्रधानमंत्री नेतन्याहू ने ट्रंप की खुलकर तारीफ की। उन्होंने कहा कि दुश्मनों को अब एहसास हो गया है कि इजरायल की ताकत कितनी जबरदस्त है। नेतन्याहू ने सात अक्टूबर के हमले को हमास की सबसे बड़ी भूल बताया। उन्होंने कहा कि उन्होंने किसी को ट्रंप की तरह दुनिया को इतनी तेजी से नहीं बदलते देखा।
नेतन्याहू ने ट्रंप को इजरायल का सच्चा मित्र बताया। उन्होंने कहा कि ट्रंप ने दुनिया को दृढ़ता और निर्णायकता से बदला है। इजरायली प्रधानमंत्री ने इस दौरे को द्विपक्षीय संबंधों के लिए ऐतिहासिक बताया। उन्होंने कहा कि यह क्षेत्र में शांति के नए युग की शुरुआत है।
भाषण के दौरान विरोध प्रदर्शन
ट्रंप के भाषण के दौरान गाजा समर्थक सांसदों ने विरोध प्रदर्शन किया। कई सांसद अपनी सीटों से उठ खड़े हुए और नारेबाजी करने लगे। सुरक्षाकर्मियों ने तुरंत कार्रवाई करते हुए विरोध कर रहे सांसदों को सभा कक्ष से बाहर निकाल दिया। यह घटना ट्रंप के भाषण के मध्य हुई।
विरोध प्रदर्शन के बावजूद ट्रंप ने अपना भाषण जारी रखा। उन्होंने शांति प्रक्रिया पर जोर दिया और क्षेत्र में नए युग की बात कही। इस घटना ने संसद में कुछ देर के लिए अशांति का माहौल बना दिया। हालांकि जल्द ही स्थिति सामान्य हो गई।
गाजा समझौते का औपचारिक कार्यान्वयन
यह दौरा गाजा समझौते के औपचारिक रूप से लागू होने के अवसर पर हुआ। इस समझौते के तहत हमास ने इजरायली बंधकों को रिहा किया है। दो साल से चल रहे इस संघर्ष के समाप्त होने से क्षेत्र में शांति की उम्मीद जगी है। ट्रंप ने इस समझौते को ऐतिहासिक बताया।
अमेरिकी राष्ट्रपति ने प्रधानमंत्री नेतन्याहू की प्रशंसा करते हुए कहा कि उनसे निपटना आसान नहीं है। ट्रंप ने कहा कि यही गुण उन्हें महान बनाता है। उन्होंने इस समय को निर्णायक मोड़ बताया। ट्रंप ने कहा कि यह एक असामान्य समय है जो इतिहास में याद रखा जाएगा।
शांति प्रक्रिया पर जोर
ट्रंप ने अपने भाषण में मध्य पूर्व में शांति की संभावनाओं पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि यह क्षेत्र अब शांति की नई राह पर चलेगा। अमेरिकी राष्ट्रपति ने इजरायल और पड़ोसी देशों के बीच सहयोग बढ़ाने की बात कही। उन्होंने इस दौरे को शांति प्रक्रिया में मील का पत्थर बताया।
इस दौरे को मध्य पूर्व में अमेरिकी विदेश नीति की सफलता के रूप में देखा जा रहा है। ट्रंप ने कहा कि बंधकों की रिहाई इस बात का प्रमाण है कि कूटनीति से समस्याओं का समाधान संभव है। उन्होंने भविष्य में और सहयोग की संभावना जताई। इससे क्षेत्र में स्थायी शांति की उम्मीद बढ़ी है।
