शुक्रवार, दिसम्बर 19, 2025

पीएम मोदी ने पुतिन को लेने उपयोग की ये कार, न आधिकारिक न रूसी, जानें किसकी है?

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Delhi News: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने प्रोटोकॉल तोड़कर रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन का स्वागत किया। यह घटना गुरुवार शाम दिल्ली के पालम एयरपोर्ट पर हुई। दोनों नेता एक ही कार में बैठकर प्रधानमंत्री आवास के लिए रवाना हुए। इस कार ने सोशल मीडिया पर काफी चर्चा पैदा की।

दरअसल, प्रधानमंत्री मोदी जिस कार से पुतिन को लेने पहुंचे, वह कोई आधिकारिक वाहन नहीं थी। यह न तो पुतिन की रूसी राष्ट्रपति कार थी और न ही पीएम मोदी की मर्सिडीज। वह कार एक टोयोटा फॉर्च्युनर एसयूवी थी। इस असामान्य वाहन चयन ने लोगों का ध्यान खींचा।

क्या है प्रधानमंत्री और राष्ट्रपति पुतिन की आधिकारिक कार?

प्रधानमंत्रीनरेंद्र मोदी आमतौर पर एक विशेष मर्सिडीज-मेबेक एस-650 गार्ड वाहन का उपयोग करते हैं। यह कार उनके काफिले में 2021 से शामिल है। यह वाहन कई तरह के हमलों को विफल करने में सक्षम मानी जाती है। इसमें बुलेटप्रूफ और ब्लास्टप्रूफ सुविधाएं हैं।

रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन एक अलग वाहन का उपयोग करते हैं। उनकी आधिकारिक कार ‘ऑरस सेनेट’ नामक रूसी ब्रांड है। यह कार भी अत्याधुनिक सुरक्षा मानकों से लैस है। रिपोर्ट्स के अनुसार यह मिसाइल हमले को भी झेलने की क्षमता रखती है। दोनों नेताओं के वाहन अलग हैं।

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टोयोटा फॉर्च्युनर कार का रहस्य

पीएम मोदीद्वारा इस्तेमाल की गई टोयोटा फॉर्च्युनर का नंबर एमएच01ईएन5795 था। यह नंबर प्लेट महाराष्ट्र आरटीओ में पंजीकृत है। कार का पंजीकरण 24 अप्रैल 2024 को हुआ था। यह एक डीजल इंजन वाली कार है। सवाल यह उठता है कि इस कार का मालिक कौन है?

जानकारी के अनुसार इस कार के रजिस्ट्रेशन में मालिक का नाम एक विशेष पैटर्न में दिखाई देता है। पैटर्न “एडीशनल कमिश्नर ऑफ पुलिस मुंबई” जैसा प्रतीत होता है। इस आधार पर यह कार मुंबई पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी के नाम पर रजिस्टर्ड हो सकती है। हालांकि इसकी आधिकारिक पुष्टि नहीं हुई है।

इस तरह के विशेष अवसरों पर सुरक्षा एजेंसियां अक्सर अलग वाहनों का इस्तेमाल करती हैं। यह सुरक्षा रणनीति का हिस्सा हो सकता है। साथ ही यह एक अनौपचारिक और दोस्ताना माहौल बनाने के लिए भी किया गया प्रयास हो सकता है। दोनों नेताओं के बीच घनिष्ठ संबंध इस कार्यवाही से झलकते हैं।

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सोशल मीडिया पर इस कार को लेकर काफी बहस चल रही है। कई लोग इसे एक साधारण और व्यावहारिक विकल्प बता रहे हैं। कुछ लोग सुरक्षा पहलुओं पर सवाल उठा रहे हैं। हालांकि सुरक्षा व्यवस्था हमेशा दृश्य और अदृश्य स्तरों पर काम करती है। वाहन चयन भी इसी का हिस्सा होता है।

यह घटना दोनों देशों के बीच मजबूत रणनीतिक संबंधों को रेखांकित करती है। प्रधानमंत्री मोदी द्वारा व्यक्तिगत रूप से स्वागत करना एक महत्वपूर्ण संकेत है। यह दोस्ती और आपसी सम्मान का प्रतीक है। कार का चयन इस भावना को और मजबूती देता प्रतीत होता है। अब सभी की नजर दोनों नेताओं की आधिकारिक वार्ता पर है।

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