Uttar Pradesh News: उत्तर प्रदेश के बुलंदशहर में 2018 की स्याना हिंसा में कोर्ट ने बड़ा फैसला सुनाया। एडीजे-12 कोर्ट ने 38 आरोपियों को दोषी करार दिया। इनमें पांच को इंस्पेक्टर सुबोध सिंह की हत्या का दोषी पाया गया। अन्य 33 पर बलवा और जानलेवा हमले की धाराएं लगीं। कोर्ट ने सभी को न्यायिक हिरासत में भेजा। सजा का ऐलान 1 अगस्त को होगा।
कोर्ट का फैसला और आरोपियों की स्थिति
एडीजे-12 गोपाल जी की अदालत ने स्याना हिंसा मामले में 44 में से 38 आरोपियों को दोषी ठहराया। पांच आरोपियों की सुनवाई के दौरान मृत्यु हो चुकी है। एक नाबालिग का केस अलग से चल रहा है। कोर्ट ने फैसला सुरक्षित रखते हुए सभी दोषियों को जेल भेज दिया। सजा का ऐलान 1 अगस्त को होगा। सुरक्षा कारणों से कोर्ट ने सावधानी बरती।
हिंसा की पृष्ठभूमि
3 दिसंबर 2018 को बुलंदशहर के स्याना में गोकशी की अफवाह ने हिंसा भड़काई। इस दौरान इंस्पेक्टर सुबोध सिंह की हत्या हुई। भीड़ ने भारी तोड़फोड़ और आगजनी की। घटना ने पूरे प्रदेश में आक्रोश फैलाया। पुलिस ने 44 लोगों के खिलाफ चार्जशीट दाखिल की थी। इस मामले ने कानून-व्यवस्था पर सवाल उठाए। कोर्ट का फैसला इस केस में महत्वपूर्ण कदम है।
दोषियों के वकील की प्रतिक्रिया
17 आरोपियों के वकील अशोक डागर ने कोर्ट के फैसले पर असंतोष जताया। उन्होंने कहा कि वे 1 अगस्त के सजा के फैसले के खिलाफ उच्च न्यायालय जाएंगे। स्याना हिंसा मामले में यह फैसला ऐतिहासिक है। कोर्ट ने सभी सबूतों और गवाहों के आधार पर यह निर्णय लिया। अब सभी की नजर 1 अगस्त के सजा के ऐलान पर टिकी है।
