India News: केंद्र सरकार की प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना किसानों के लिए वरदान साबित हो रही है। इस योजना के तहत अब तक बीस किस्तें जारी की जा चुकी हैं। किसानों को अब 21वीं किस्त का बेसब्री से इंतज़ार है। आधिकारिक घोषणा का इंतज़ार जारी है, लेकिन अनुमान लगाया जा रहा है कि अगली किस्त नवंबर माह में आ सकती है।
प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना की शुरुआत वर्ष 2018 में हुई थी। इसका उद्देश्य देश के छोटे और सीमांत किसानों को आर्थिक सहायता प्रदान करना है। योजना के तहत पात्र किसानों को प्रति वर्ष छह हज़ार रुपये की वित्तीय सहायता दी जाती है। यह राशि तीन समान किस्तों में उनके बैंक खातों में सीधे ट्रांसफर की जाती है।
योजना की बीसवीं किस्त का वितरण दो अगस्त, 2025 को किया गया था। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इसे वाराणसी से किसानों को समर्पित किया। इस किस्त से देश भर के लाखों किसान लाभान्वित हुए। राजस्थान जैसे राज्य में भी इसका व्यापक लाभ मिला है। वहाँ पर अस्सी लाख से अधिक किसान इस योजना से जुड़े हुए हैं।
अब सभी की निगाहें 21वीं किस्त पर टिकी हैं। आधिकारिक तौर पर अभी इसकी तारीख की घोषणा नहीं हुई है। योजना का पैटर्न बताता है कि किस्तें हर चार महीने के अंतराल पर जारी की जाती हैं। पिछले वितरण को देखते हुए अगली किस्त नवंबर महीने में आने की संभावना है।
कुछ मीडिया रिपोर्ट्स में दावा किया गया है कि सरकार दिवाली के त्योहार तक किसानों को यह तोहफा दे सकती है। त्योहारी सीजन में इस राशि से किसानों को काफी मदद मिलेगी। हालाँकि, किसानों को सरकारी विज्ञप्ति का आधिकारिक रूप से इंतज़ार करना चाहिए।
कुछ किसानों को अगली किस्त मिलने में देरी हो सकती है। जिन किसानों ने अभी तक अपनी ई-केवाईसी प्रक्रिया पूरी नहीं की है, उन्हें तुरंत यह कार्य करना चाहिए। ई-केवाईसी पूरी किए बिना किसान लाभ की हकदारी खो सकते हैं। इसलिए इस पर तुरंत ध्यान देना जरूरी है।
वहीं, जो किसान योजना की पात्रता शर्तों को पूरा नहीं करते हैं, उन्हें चिंतित होने की आवश्यकता है। सरकारी विभाग लगातार अपात्र लाभार्थियों की जाँच कर रहे हैं। पात्रता न होने पर आवेदन रद्द किए जा सकते हैं। कई मामलों में दी गई राशि वापस लेने का भी प्रावधान है।
प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना ने किसानों के जीवन में सकारात्मक बदलाव लाया है। इससे उन्हें फसल उत्पादन और परिवार के पालन-पोषण में सहायता मिलती है। आने वाली किस्तों के लिए किसानों को अपना पंजीकरण और दस्तावेज दुरुस्त रखने चाहिए। इससे उन्हें लाभ मिलने की प्रक्रिया आसान होगी।
