India News: 12 अगस्त 2025 मंगलवार को पंचांग के अनुसार भाद्रपद कृष्ण पक्ष की तृतीया तिथि सुबह 8:41 तक रहेगी। इसके बाद चतुर्थी तिथि शुरू होगी। सुकर्मा योग शाम 6:54 तक रहेगा। सुबह 11:52 तक पूर्वाभाद्रपद नक्षत्र रहेगा, फिर उत्तरा भाद्रपद नक्षत्र लगेगा। इस दिन पंचक, भद्रा, संकष्टी श्रीगणेश चतुर्थी और कजरी तीज व्रत हैं। पंचांग में शुभ मुहूर्त और राहुकाल का समय भी महत्वपूर्ण है।
तिथि, योग और नक्षत्र
पंचांग के अनुसार, 12 अगस्त को तृतीया तिथि सुबह 8:41 तक रहेगी। इसके बाद चतुर्थी तिथि शुरू होगी। सुकर्मा योग शाम 6:54 तक रहेगा, जो शुभ कार्यों के लिए अनुकूल है। पूर्वाभाद्रपद नक्षत्र सुबह 11:52 तक रहेगा। फिर उत्तरा भाद्रपद नक्षत्र शुरू होगा। चंद्रमा मीन राशि में रहेगा। इस दिन संकष्टी श्रीगणेश चतुर्थी और कजरी तीज व्रत मनाए जाएंगे। पंचक और भद्रा भी प्रभावी रहेंगे।
शुभ मुहूर्त और अभिजीत काल
12 अगस्त को अभिजीत मुहूर्त दोपहर 12:18 से 1:09 तक रहेगा। यह समय शुभ कार्यों के लिए उपयुक्त है। पंचांग सुझाव देता है कि इस दौरान पूजा, हवन या नए कार्य शुरू किए जा सकते हैं। संकष्टी चतुर्थी के कारण गणेश पूजा का विशेष महत्व है। कजरी तीज व्रत भी महिलाएं रखेंगी। शुभ मुहूर्त में कार्य करने से सफलता मिलेगी। पंचक के कारण कुछ कार्यों से बचना चाहिए।
राहुकाल का समय
राहुकाल शहरों के अनुसार अलग-अलग है। दिल्ली में दोपहर 3:45 से 5:24 तक, मुंबई में 3:56 से 5:32 तक, चंडीगढ़ में 3:48 से 5:28 तक, लखनऊ में 3:29 से 5:08 तक, भोपाल में 3:40 से 5:18 तक, कोलकाता में 2:56 से 4:34 तक, अहमदाबाद में 3:59 से 5:37 तक और चेन्नई में 3:45 से 5:24 तक रहेगा। पंचांग के अनुसार, राहुकाल में शुभ कार्य न करें।
सूर्योदय और सूर्यास्त
12 अगस्त को सूर्योदय सुबह 6:19 बजे होगा। सूर्यास्त शाम 7:08 बजे होगा। पंचांग के अनुसार, सूर्योदय के समय पूजा और ध्यान करना शुभ माना जाता है। इस दिन चंद्रमा मीन राशि में रहेगा। संकष्टी चतुर्थी के कारण गणेश जी की पूजा विशेष फलदायी होगी। कजरी तीज व्रत भी इस दिन मनाया जाएगा। पंचांग के आधार पर दिन की योजना बनाएं।
