New Delhi: 71वें राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कारों की घोषणा हो चुकी है। बॉलीवुड के बादशाह शाहरुख खान को उनकी सुपरहिट फिल्म ‘जवान’ के लिए सर्वश्रेष्ठ अभिनेता का पुरस्कार दिया गया। इसके साथ ही, मलयालम सिनेमा के दिग्गज मोहनलाल को भारतीय सिनेमा के सर्वोच्च सम्मान दादा साहब फाल्के अवॉर्ड से नवाजा गया। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने नई दिल्ली के विज्ञान भवन में आयोजित एक भव्य समारोह में विजेताओं को पुरस्कार प्रदान किए।
शाहरुख खान ने ‘जवान’ फिल्म में एक साथ दो भूमिकाएं निभाकर दर्शकों और आलोचकों दोनों का दिल जीता था। यह फिल्म बॉक्स ऑफिस पर कई रिकॉर्ड तोड़ने में सफल रही थी। पुरस्कार लेते समय शाहरुख के चेहरे पर खुशी साफ देखी जा सकती थी। मंच पर उनके आते ही पूरा हॉल तालियों की गड़गड़ाहट से गूंज उठा।
रानी मुखर्जी को उनकी फिल्म ‘मिसेज चैटर्जी वर्सेज नॉर्वे’ में शानदार अभिनय के लिए सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री का पुरस्कार मिला। इस फिल्म में उन्होंने एक संघर्षशील मां की भूमिका निभाई थी। रानी ने ब्राउन रंग की साड़ी पहनकर समारोह में चमक बिखेरी। वह शाहरुख खान के साथ ही समारोह में बैठी नजर आईं।
विक्रांत मैसी को भी सर्वश्रेष्ठ अभिनेता का पुरस्कार दिया गया। उन्हें यह सम्मान फिल्म ’12वीं फेल’ में यूपीएससी अधिकारी मनोज कुमार शर्मा की भूमिका के लिए दिया गया। विक्रांत ने ऑफ-व्हाइट सूट पहनकर समारोह में अपनी मौजूदगी दर्ज कराई। उनकी इस भूमिका की देशभर में व्यापक सराहना हुई थी।
मोहनलाल को मिला जीवन पर्यंत उपलब्धि का सम्मान
मलयालम सिनेमा के सुपरस्टार मोहनलाल को दादा साहब फाल्के अवॉर्ड से सम्मानित किया गया। यह पुरस्कार भारतीय सिनेमा में उनके असाधारण योगदान को देखते हुए दिया जाता है। मोहनलाल ने चार दशकों से अधिक लंबे करियर में 400 से ज्यादा फिल्मों में काम किया है। उनकी अभिनय क्षमता कॉमेडी से लेकर गंभीर ड्रामा तक फैली हुई है।
फिल्म ’12वीं फेल’ को सर्वश्रेष्ठ फीचर फिल्म का पुरस्कार मिला। इस फिल्म के निर्देशक विधु विनोद चोपड़ा को भी सम्मानित किया गया। फिल्म ने एक सच्ची कहानी के माध्यम से देश भर के युवाओं को प्रेरित किया था। इसने बॉक्स ऑफिस पर भी शानदार प्रदर्शन किया था।
क्षेत्रीय सिनेमा को मिली मजबूत पहचान
राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कारों में क्षेत्रीय भाषाओं की फिल्मों को भी खास सम्मान मिला। तेलुगु फिल्म ‘भगवंत केशरी’ को सर्वश्रेष्ठ तेलुगु फिल्म चुना गया। गुजराती फिल्म ‘वश’ को सर्वश्रेष्ठ गुजराती फिल्म का पुरस्कार मिला। तमिल फिल्म ‘पार्किंग’ और कन्नड़ फिल्म ‘द रे ऑफ होप’ को भी उनकी श्रेणियों में सम्मानित किया गया।
फिल्म ‘कटहल: ए जैकफ्रूट मिस्ट्री’ को सर्वश्रेष्ठ हिंदी फिल्म का पुरस्कार दिया गया। फिल्म ‘रॉकी और रानी की प्रेम कहानी’ को सर्वश्रेष्ठ लोकप्रिय फिल्म का सम्मान मिला। इस फिल्म के गाने ‘ढिंढोरा बाजे रे’ को सर्वश्रेष्ठ कोरियोग्राफी का पुरस्कार भी दिया गया।
तकनीकी श्रेणियों में विजेता
तकनीकी श्रेणियों में फिल्म ‘जवान’ के गाने ‘चलेया’ के लिए शिल्पा राव को सर्वश्रेष्ठ महिला पार्श्वगायिका का पुरस्कार मिला। फिल्म ‘द केरला स्टोरी’ को सर्वश्रेष्ठ सिनेमैटोग्राफी और सर्वश्रेष्ठ निर्देशन का पुरस्कार दिया गया। इस फिल्म के निर्देशक सुदीप्तो सेन हैं।
फिल्म ‘सैम बहादुर’ को सर्वश्रेष्ठ मेकअप और कॉस्ट्यूम डिजाइन का पुरस्कार प्राप्त हुआ। फिल्म ‘एनिमल’ को सर्वश्रेष्ठ साउंड डिजाइन के लिए सम्मानित किया गया। इस फिल्म के री-रिकॉर्डिंग मिक्सर एम.आर. राधाकृष्णन को विशेष उल्लेख मिला।
नेशनल फिल्म अवॉर्ड्स समारोह में फिल्म उद्योग के कई दिग्गजों ने हिस्सा लिया। यह पुरस्कार भारत सरकार के सूचना और प्रसारण मंत्रालय की ओर से दिए जाते हैं। ये सम्मान भारतीय सिनेमा को गुणवत्ता और विविधता को बढ़ावा देने के लिए दिए जाते हैं। इस वर्ष के पुरस्कारों ने बॉलीवुड और क्षेत्रीय सिनेमा दोनों की उत्कृष्टता को रेखांकित किया है।
