Rajasthan News: आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत ने कहा है कि भारत आज दुनिया के सामने एक शक्तिशाली राष्ट्र के रूप में उभर चुका है। जयपुर में आयोजित दीनदयाल स्मृति व्याख्यान में उन्होंने कहा कि वैश्विक चुनौतियों के समाधान की उम्मीद अब भारत से की जाती है। भागवत ने देश की तेज प्रगति का जिक्र करते हुए कहा कि भारत अब मीलों आगे बढ़ रहा है। उन्होंने कहा कि भारत के पास दुनिया की समस्याओं का समाधान है।
भारत की बढ़ती वैश्विक पहचान
मोहन भागवत ने कहा कि दुनिया आज भारत की ओर देख रही है। जिन समस्याओं का समाधान दुनिया खोज रही है, उनका उत्तर भारत के पास है। उन्होंने कहा कि भारत में वह बौद्धिक क्षमता और विचार है जो विश्व की समस्याओं को हल कर सकता है। भागवत ने देश की प्रगति पर प्रसन्नता जताई। उन्होंने कहा कि भारत की अलग पहचान बन चुकी है।
वैश्विक संघर्षों पर विचार
वैश्विक संघर्षों पर बोलते हुए भागवत ने कहा कि युद्ध अक्सर राष्ट्रवाद से उपजते हैं। अंतरराष्ट्रीयतावाद की बातें करने वाले भी अपने देश के हित को सबसे ऊपर रखते हैं। इससे दुनिया में अस्थिरता बनी रहती है। उन्होंने कहा कि सबसे ज्यादा संघर्ष शक्तिशाली देशों में है। इसका नुकसान कमजोर देशों को उठाना पड़ता है।
धार्मिक स्थलों का महत्व
जयपुर दौरे पर पहुंचे मोहन भागवत ने प्रसिद्ध गोविंद देव जी मंदिर में दर्शन किए। यहां उनका स्वागत स्थानीय प्रतिनिधियों और स्वयंसेवकों ने किया। उन्होंने कहा कि धार्मिक स्थलों पर आस्था बनाए रखना जरूरी है। सांस्कृतिक मूल्यों को सहेजना समाज के विकास के लिए आवश्यक है। भागवत ने मंदिर की व्यवस्थाओं का निरीक्षण किया।
मंदिरों का सामाजिक योगदान
भागवत ने कहा कि मंदिर केवल पूजा का स्थान नहीं होते। वे समाज को जोड़ने और सांस्कृतिक जागरूकता बढ़ाने का काम भी करते हैं। उन्होंने मंदिर में चल रहे धार्मिक-सामाजिक कार्यक्रमों की सराहना की। भागवत ने युवाओं से समाजिक जिम्मेदारियाँ निभाने की अपील की। उन्होंने शिक्षा, संस्कृति और सेवा के माध्यम से राष्ट्र निर्माण में योगदान देने को कहा।
जयपुर में उत्साह का माहौल
जयपुर में मोहन भागवत के आगमन से स्थानीय लोगों में खासा उत्साह देखने को मिला। आरएसएस अधिकारियों ने बताया कि भागवत का यह दौरा धार्मिक सहभागिता के उद्देश्य से किया गया। सामाजिक और सांस्कृतिक जागरूकता बढ़ाना भी इस दौरे का लक्ष्य है। भागवत के कार्यक्रम में बड़ी संख्या में लोगों ने भाग लिया। स्थानीय प्रशासन ने व्यवस्थाओं का पूरा ध्यान रखा।
युवाओं से अपील
मोहन भागवत ने युवाओं से राष्ट्र निर्माण में सक्रिय भूमिका निभाने का आह्वान किया। उन्होंने कहा कि युवा शक्ति देश की सबसे बड़ी ताकत है। शिक्षा और संस्कृति के माध्यम से युवा देश का भविष्य बना सकते हैं। उन्होंने सेवा कार्यों में बढ़-चढ़कर भाग लेने की सलाह दी। भागवत ने कहा कि युवाओं में देश प्रेम की भावना जागृत करना जरूरी है।
