Himachal Pradesh News: मंडी जिले में एक युवक के साथ हुई मारपीट का मामला सामने आया है। पीड़ित ने पुलिस अधीक्षक को शिकायत पत्र लिखकर कार्रवाई की मांग की है। शिकायत के अनुसार गुलशन ठाकुर नामक व्यक्ति और उसके तीन साथियों ने हमला किया। इस घटना में पीड़ित को नाक, कान और पीठ में चोटें आई हैं। पीड़ित ने आरोप लगाया कि हमलावरों ने जातिसूचक गालियां दीं।
यह घटना बीस अक्टूबर दो हजार पांच को दिन में साढ़े तीन बजे हुई। फेगडू चौक स्थान पर गुलशन ठाकुर और उसके साथियों ने पीड़ित के साथ मारपीट की। पीड़ित के साथ पुष्पराज नामक व्यक्ति भी मौजूद था। हमलावरों ने पत्थर फेंके जो पीड़ित की पीठ पर लगे। इससे उसे काफी चोटें आईं।
हेलमेट की खरीदारी को लेकर था विवाद
पीड़ित ने बताया कि गुलशन ने पिछले साल उससे एक हेलमेट छीना था। हेलमेट के पैसे गुलशन ने अभी तक नहीं दिए थे। जब भी पीड़ित पैसे या हेलमेट वापस मांगता था तो गुलशन उसे डरा धमकाकर भगा देता था। दोनों के बीच इस मुद्दे को लेकर पहले से तनाव चल रहा था। गुलशन पहले भी पीड़ित को कई बार धमकी दे चुका था।
घटना वाले दिन पीड़ित ने फिर से गुलशन ठाकुर से हेलमेट वापस मांगा। इस पर गुलशन नाराज हो गया। उसने अपने साथियों के साथ मिलकर पीड़ित पर हमला कर दिया। हमलावरों ने पीड़ित को जातिसूचक गालियां दीं। गुलशन ने पीड़ित से कहा कि तू मुझे नहीं जानता, मैं तुझे जान से मार दूंगा।
पीड़ित ने एसपी को लिखा शिकायत पत्र
पीड़ित ने पुलिस अधीक्षक मंडी को शिकायत पत्र लिखा है। शिकायत में कहा गया है कि पुलिस ने अभी तक एससी एसटी एक्ट के तहत मामला दर्ज नहीं किया है। पीड़ित चाहता है कि आरोपियों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाए। उसने अपनी सुरक्षा की भी मांग की है।
पीड़ित के शरीर पर हमले के कई निशान हैं। नाक, कान और पीठ में गंभीर चोटें आई हैं। पत्थर मारने से पीठ पर विशेष रूप से चोट लगी है। पीड़ित ने बताया कि हमलावरों ने उसे जान से मारने की धमकी भी दी। इस घटना ने पीड़ित और उसके परिवार को डर में डाल दिया है।
पुलिस कार्रवाई का इंतजार
स्थानीय लोगों का कहना है कि पुलिस को तुरंत कार्रवाई करनी चाहिए। ऐसे मामलों में देरी खतरनाक हो सकती है। पीड़ित को न्याय मिलना जरूरी है। लोगों ने पुलिस से एससी एसटी एक्ट के तहत मामला दर्ज करने की मांग की है।
पुलिस अधीक्षक कार्यालय ने शिकायत पत्र प्राप्त कर लिया है। अब पुलिस की जिम्मेदारी है कि वह त्वरित कार्रवाई करे। आरोपियों के खिलाफ मामला दर्ज किया जाए और उन्हें गिरफ्तार किया जाए। पीड़ित को सुरक्षा प्रदान की जाए।
मामले की जांच शुरू होने का इंतजार है। पुलिस के कदमों पर सभी की नजर टिकी हुई है। स्थानीय निवासी चाहते हैं कि ऐसी घटनाएं दोबारा न हों। कानून का शासन बना रहे और हर नागरिक सुरक्षित महसूस करे। पुलिस की त्वरित कार्रवाई इस मामले में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी।
