शुक्रवार, दिसम्बर 19, 2025

मध्य प्रदेश: क्या स्वास्थ्य मंत्री के घर पर चलेगा बुलडोजर, कफ सिरप से बच्चों की मौत पर कांग्रेस ने सरकार पर साधा निशाना

Share

Bhopal News: मध्य प्रदेश और राजस्थान में कफ सिरप पीने से बच्चों की हुई मौतों ने राजनीतिक गर्मजोशी बढ़ा दी है। कांग्रेस नेताओं ने सोमवार को दिल्ली में संयुक्त प्रेस कॉन्फ्रेंस कर राज्य सरकारों पर गंभीर आरोप लगाए। मध्य प्रदेश के नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार और राजस्थान के नेता प्रतिपक्ष ने सरकार पर लापरवाही और भ्रष्टाचार के आरोप लगाए।

उमंग सिंघार ने कहा कि बच्चों की मौत के इस दर्दनाक मामले में मध्य प्रदेश सरकार और उपमुख्यमंत्री राजेंद्र शुक्ल को जवाब देना चाहिए। उन्होंने आरोप लगाया कि सरकार ने 72 घंटे के भीतर जांच कराने के नियम का पालन नहीं किया। मामला बढ़ने के बाद ही मृत बच्ची योगिता ठाकरे का शव कब्र से निकालकर पोस्टमॉर्टम कराया गया।

विधायक ने उठाए सवाल

छिंदवाड़ा जिले की परासिया से कांग्रेस विधायक सोहन लाल बाल्मीकि ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में सरकार पर जोरदार हमला बोला। उन्होंने कहा कि सरकार छोटे मामलों में लोगों के घरों पर बुलडोजर चलाती है लेकिन बच्चों की मौत के मामले में चुप्पी साधे हुए है। उन्होंने सवाल किया कि क्या स्वास्थ्य मंत्री के घर पर बुलडोजर चलेगा।

यह भी पढ़ें:  किडनी रोग के लक्षण: ये 4 संकेत न करें नजरअंदाज, हो सकता है खतरनाक

विधायक बाल्मीकि ने उपमुख्यमंत्री राजेंद्र शुक्ल को इन मौतों का जिम्मेदार ठहराया। उन्होंने बताया कि उनके विधानसभा क्षेत्र के पास जुन्नारदेव में डेढ़ साल की एक बच्ची की किडनी फेल होने से मौत हो गई। इसके बावजूद सरकार की ओर से कोई मदद नहीं मिली। मुख्यमंत्री के छिंदवाड़ा दौरे पर भी कोई ठोस घोषणा नहीं हुई।

जांच में देरी के आरोप

कांग्रेस नेताओं का आरोप है कि सरकार ने कफ सिरप के सैंपल और सप्लाई चेन की जांच में जानबूझकर देरी की। इस लापरवाही के कारण कई बच्चों की जान चली गई। उमंग सिंघार ने स्पष्ट कहा कि स्वास्थ्य मंत्री और ड्रग कंट्रोल अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई के बिना जांच अधूरी रहेगी।

यह भी पढ़ें:  दिल्ली न्यूज़: रेखा गुप्ता ने की कल्याणकारी योजनाओं की समीक्षा की घोषणा, सभी फर्जी लाभार्थी होंगे बाहर

उन्होंने आरोप लगाया कि सरकार मौतों को छिपाने की कोशिश कर रही है। छिंदवाड़ा, बैतूल और राजस्थान में दर्जनों बच्चों की मौत के बाद विपक्ष ने सरकार को घेरते हुए एसआईटी जांच की मांग की है। साथ ही स्वास्थ्य मंत्री के इस्तीफे की मांग भी जोर पकड़ रही है।

इस पूरे मामले ने राज्य सरकार के स्वास्थ्य तंत्र की कार्यप्रणाली पर बड़े सवाल खड़े कर दिए हैं। सरकारी महकमे की ओर से अब तक कोई ठोस जवाब नहीं दिया गया है। विपक्ष लगातार इस मुद्दे को उठा रहा है और सरकार से जवाब तलब कर रहा है।

मामले की गंभीरता को देखते हुए अब केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने भी हस्तक्षेप किया है। केन्द्र सरकार ने राज्य सरकारों से विस्तृत रिपोर्ट मांगी है। दवा नियंत्रण विभाग ने संबंधित कफ सिरप के नमूनों की जांच शुरू कर दी है। इस पूरे प्रकरण में कई सवाल अनुत्तरित हैं।

Poonam Sharma
Poonam Sharma
एलएलबी और स्नातक जर्नलिज्म, पत्रकारिता में 11 साल का अनुभव।

Read more

Related News