Madhya Pradesh News: मध्य प्रदेश के सिवनी जिले में पुलिसकर्मियों पर हवाला की करोड़ों रुपये की राशि जब्त कर आपस में बांटने का गंभीर आरोप लगा है। इस मामले में बड़ी कार्रवाई करते हुए सिवनी की एसडीओपी पूजा पांडे को निलंबित कर दिया गया है। राज्य पुलिस प्रमुख कैलाश मकवाना ने यह आदेश जारी किया है। आरोप है कि जब्त की गई तीन करोड़ रुपये की हवाला राशि पुलिसकर्मियों ने आपस में बांट ली।
यह मामला सिवनी जिले के बंडोल थाना क्षेत्र से सामने आया है। आठ अक्टूबर की रात को पुलिस को सूचना मिली कि महाराष्ट्र की एक कार में हवाला की राशि ले जाई जा रही है। यह राशि कटनी से नागपुर ले जाने का प्रयास किया जा रहा था। कार में जालना निवासी एक व्यक्ति और उसके साथी सवार थे।
पुलिस ने किया पीछा
पुलिस ने इस कार का पीछा शुरू किया। आधी रात के समय जंगल में पुलिस ने आरोपियों की कार को रोक लिया। इसके बाद पुलिस ने हवाला के तीन करोड़ रुपये जब्त कर लिए। यह पूरी कार्रवाई सफल रही और राशि बरामद हो गई। लेकिन इसके बाद की घटनाओं ने पुलिस की भूमिका पर सवाल खड़े कर दिए।
आरोप है कि पुलिसकर्मियों ने आरोपियों को मौके से भगा दिया। जब्त की गई पूरी राशि को पुलिसकर्मियों ने आपस में बांट लिया। इस पूरे मामले में एसडीओपी पूजा पांडे की भूमिका पर भी सवाल उठे हैं। आरोप है कि उन्हें इस पूरे घटनाक्रम की पूर्व जानकारी थी।
उच्चाधिकारियों ने की कार्रवाई
जब यह मामला प्रकाश में आया तो पुलिस महानिदेशक कैलाश मकवाना ने तत्काल कार्रवाई की। उन्होंने एसडीओपी पूजा पांडे को तुरंत निलंबित कर दिया। इस मामले की अब विस्तार से जांच की जा रही है। पुलिस विभाग के भीतर ही इस तरह की घटना से प्रशासन में हड़कंप मच गया है।
पुलिस महानिदेशक के कार्यालय से जारी आदेश में कहा गया है कि यह निलंबन तत्काल प्रभाव से लागू होगा। इस दौरान पूजा पांडे पर कोई अतिरिक्त जिम्मेदारी नहीं दी जाएगी। विभागीय जांच पूरी होने के बाद ही आगे की कार्रवाई तय की जाएगी।
हवाला राशि की तस्करी
हवाला की यह राशि कटनी से नागपुर ले जाई जा रही थी। आरोपियों ने महाराष्ट्र की कार का इस्तेमाल किया था ताकि संदेह न पैदा हो। पुलिस को इसकी सूचना मिलते ही उन्होंने त्वरित कार्रवाई की थी। रात के अंधेरे में जंगल में यह पूरी कार्रवाई अंजाम दी गई थी।
पहले तो पुलिस की कार्रवाई सफल रही और राशि बरामद हो गई। लेकिन बाद में पुलिसकर्मियों का रवैया संदेहास्पद हो गया। उन्होंने आरोपियों को छोड़ दिया और राशि आपस में बांट ली। इससे पुलिस विभाग की छवि को गंभीर ठेस पहुंची है।
जारी है जांच
इस पूरे मामले की अब विस्तृत जांच चल रही है। पुलिस के उच्च अधिकारी इस मामले की गहराई से जांच कर रहे हैं। संभावना है कि और भी पुलिसकर्मी इस मामले में फंस सकते हैं। जांच में यह भी पता लगाया जा रहा है कि क्या यह पहली बार हुआ है या पहले भी ऐसी घटनाएं हो चुकी हैं।
पुलिस प्रशासन इस मामले को गंभीरता से ले रहा है। विभाग की साख बनाए रखने के लिए कड़े कदम उठाए जा रहे हैं। आम जनता की नजर में पुलिस की विश्वसनीयता बनी रहे इसके लिए पारदर्शी कार्रवाई की जा रही है। पूरे मामले की जल्द ही और स्पष्टता आने की उम्मीद है।
