शुक्रवार, दिसम्बर 19, 2025

लखनऊ काकोरी: RSS कार्यकर्ता ने दलित बुजुर्ग को पेशाब चाटने पर किया मजबूर, जानें क्या बोले भीम आर्मी प्रमुख

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Uttar Pradesh News: लखनऊ के काकोरी इलाके में एक दलित बुजुर्ग के साथ घटना ने तूल पकड़ लिया है। शीतला माता मंदिर परिसर में बुजुर्ग रामपाल को उनका ही पेशाब चाटने के लिए मजबूर किया गया। यह घटना दिवाली की रात हुई थी। पुलिस ने आरोपी स्वामी कांत उर्फ पम्मू को गिरफ्तार कर लिया है। मामले में राजनीतिक दलों ने पीड़ित परिवार से मिलना शुरू कर दिया है।

पीड़ित रामपाल ने बताया कि वह मंदिर में पानी पी रहे थे। तभी RSS का कार्यकर्ता पम्मू गुप्ता आया और उन पर पेशाब करने का आरोप लगाया। रामपाल ने समझाया कि यह पानी गिरा है लेकिन पम्मू नहीं माना। उसने जातिसूचक शब्द कहे और धमकाया। इसके बाद उन्हें जमीन चाटने के लिए मजबूर किया गया। बुजुर्ग स्वास्थ्य समस्याओं से पीड़ित हैं।

पीड़ित के पौत्र मुकेश कुमार ने बताया कि दादाजी को सांस लेने में तकलीफ है। मंदिर में उन्हें खांसी आई और इस दौरान थोड़ा पेशाब निकल गया। इसके बाद पम्मू ने उन्हें जातिसूचक शब्द कहे। डर के मारे बुजुर्ग ने पेशाब चाट लिया। फिर उन्हें तालाब के पानी से वह जगह धोने को कहा गया। मुकेश ने बताया कि मुख्य मंदिर इस स्थान से करीब 40 मीटर दूर है।

राजनीतिक दलों ने उठाया मुद्दा

समाजवादी पार्टी का एक प्रतिनिधिमंडल पीड़ित से मिलने पहुंचा। इस दल का नेतृत्व सांसद आरके चौधरी ने किया। पूर्व सांसद कौशल किशोर और मलीहाबाद विधायक जय देवी कौशल भी परिवार से मिले। काकोरी पहुंचे समाजवादी पार्टी के नेताओं और पुलिस के बीच थोड़ी बहस भी हुई। सुबह से ही विभिन्न दलों के प्रतिनिधि वहां पहुंच रहे हैं।

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समाजवादी पार्टी प्रमुख अखिलेश यादव ने इस घटना पर प्रतिक्रिया व्यक्त की। उन्होंने कहा कि किसी की भूल का अर्थ यह नहीं कि उसे अपमानजनक सजा दी जाए। कांग्रेस ने भी इस मामले में तीखी प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने कहा कि यह घटना मानवता पर कलंक है। दोषियों को कड़ी सजा मिलनी चाहिए।

भीम आर्मी प्रमुख ने जताई नाराजगी

भीम आर्मी प्रमुख और सांसद चंद्र शेखर आजाद ने इस मामले पर गहरी नाराजगी जताई। उन्होंने कहा कि यह सिर्फ एक अपराध नहीं है। यह जातिवाद और सामंतवाद की दलित विरोधी मानसिकता का नंगा प्रदर्शन है। उन्होंने सरकार से मांग की कि आरोपी को तत्काल गिरफ्तार कर कठोरतम सजा दी जाए।

आजाद ने कहा कि यह घटना संविधान की आत्मा पर प्रहार है। उन्होंने पीड़ित रामपाल को सरकारी सुरक्षा और सम्मानजनक मुआवजा देने की मांग की। साथ ही इलाज की उचित सुविधा उपलब्ध कराने का अनुरोध किया। इस मामले ने स्थानीय स्तर पर काफी आक्रोश पैदा किया है।

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स्थानीय लोगों में व्याप्त आक्रोश

घटना को लेकर स्थानीय लोगों में गहरा आक्रोश देखने को मिल रहा है। समाज के लोग सुबह से मंदिर परिसर के बाहर जमा हो गए। उनका कहना है कि ऐसी घटनाएं सभ्य समाज के लिए शर्मनाक हैं। लोगों ने दोषियों के खिलाफ कठोर कार्रवाई की मांग की। पुलिस ने स्थिति को नियंत्रण में रखने के लिए पर्याप्त बल तैनात किया है।

पुलिस ने आरोपी के खिलाफ एससी/एसटी एक्ट के तहत मामला दर्ज किया है। प्रारंभिक जांच में पता चला है कि आरोपी मंदिर प्रबंधक का भाई है। हालांकि पुलिस ने स्पष्ट किया है कि आरोपी का संघ से कोई संबंध नहीं है। घटना की तहकीकात जारी है और पुलिस अन्य पहलुओं की जांच कर रही है।

मामले ने सोशल मीडिया पर भी तूफान ला दिया है। लोग इस घटना की कड़ी निंदा कर रहे हैं। कई लोगों ने दलित समुदाय के साथ बढ़ते अत्याचारों पर चिंता जताई है। विभिन्न संगठनों ने इस मामले में त्वरित न्याय की मांग की है। प्रशासन ने शांति बनाए रखने के लिए सभी आवश्यक कदम उठाए हैं।

पीड़ित बुजुर्ग के परिवार वालों ने मीडिया से बातचीत में बताया कि वे गहरे सदमे में हैं। उन्होंने कहा कि इस घटना ने पूरे परिवार को झकझोर कर रख दिया है। परिवार ने अधिकारियों से न्याय की उम्मीद जताई है। उनका कहना है कि ऐसे मामलों में त्वरित कार्रवाई होनी चाहिए ताकि भविष्य में ऐसी घटनाएं न हों।

Poonam Sharma
Poonam Sharma
एलएलबी और स्नातक जर्नलिज्म, पत्रकारिता में 11 साल का अनुभव।

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