Himachal News: हिमाचल प्रदेश के मंडी जिले में पराशर घाटी के पास कालंग गांव में शुक्रवार रात भारी भूस्खलन हुआ। इसने गांव को खतरे में डाल दिया। पहाड़ी का बड़ा हिस्सा खिसक गया, जिससे 14 परिवार दहशत में हैं। लगातार बारिश ने स्थिति को और गंभीर किया। ग्रामीणों ने प्रशासन से तत्काल सुरक्षा उपायों की मांग की है। यह आपदा ग्रामीणों के लिए भयावह स्थिति पैदा कर रही है।
गांव में बढ़ता खतरा
कालंग गांव के नीचे पहाड़ी का खिसकना 2023 से शुरू हुआ। हर साल बागी नाला क्षेत्र में तबाही मचती है। शुक्रवार की मूसलाधार बारिश ने भूस्खलन को और बढ़ाया। गांव में दरारें उभर आई हैं। पास के कलवाड़ गांव के तीन परिवार पहले ही घर छोड़ चुके हैं। ग्रामीणों का कहना है कि स्थिति अब नियंत्रण से बाहर होती जा रही है। यह उनके जीवन और घरों के लिए बड़ा खतरा है।
ग्रामीणों की चिंता
ग्रामीण राज ठाकुर, बीरी सिंह, लाल सिंह और अन्य ने बताया कि भूस्खलन ने गांव की नींव हिला दी है। घरों में दरारें दिख रही हैं। बारिश के कारण पहाड़ और खिसक सकते हैं। ग्रामीणों ने प्रशासन से तुरंत हस्तक्षेप की गुहार लगाई। उनका कहना है कि समय पर कार्रवाई न हुई तो बड़ी त्रासदी हो सकती है। यह मांग हिमाचल के लोगों की सुरक्षा की चिंता को दर्शाती है।
प्रशासन से मुलाकात
ग्रामीणों का एक प्रतिनिधिमंडल सोमवार को जिला उपायुक्त से मिलेगा। वे भूस्खलन से हुए नुकसान की जानकारी देंगे। साथ ही तत्काल राहत और पुनर्वास की मांग करेंगे। गांव में डर का माहौल है। लोग अपने घरों और परिवार की सुरक्षा को लेकर चिंतित हैं। प्रशासन से ठोस कदम उठाने की उम्मीद है। यह मुलाकात ग्रामीणों के लिए एकमात्र आस बनी हुई है।
आपदा की गंभीरता
मंडी जिला इस मानसून में सबसे ज्यादा प्रभावित हुआ। भारी बारिश ने सैकड़ों सड़कों को बंद कर दिया। भूस्खलन और बाढ़ ने कई गांवों को तबाह किया। कालंग गांव की स्थिति इस आपदा का एक उदाहरण है। ग्रामीणों का डर जायज है, क्योंकि बारिश का दौर जारी है। प्रशासन को त्वरित कार्रवाई करनी होगी। यह आपदा प्रभावित क्षेत्रों में राहत कार्यों की जरूरत को रेखांकित करती है।
राहत की जरूरत
ग्रामीणों ने प्रशासन से स्थलीय निरीक्षण की मांग की। वे चाहते हैं कि सुरक्षा के लिए ठोस उपाय हों। कालंग गांव के लोग अपनी जिंदगी और घर बचाने की जद्दोजहद में हैं। यह स्थिति हिमाचल में बारिश से होने वाली तबाही को दर्शाती है। हिंदुस्तान टाइम्स के अनुसार, मंडी में राहत कार्य चल रहे हैं। प्रशासन को अब और तेजी दिखानी होगी।
