Mandi News: सराज घाटी का जिला स्तरीय कुथाह मेला देवी महामाया और ब्रह्मदेव तुंगासी के आगमन के साथ शुरू हो गया। जिला स्तरीय मेले का शुभारंभ एसपी सौम्या सांबशिवन ने देवी-देवता की पूजा-अर्चना के साथ किया।
इस अवसर पर कुथाह मेला मैदान में पारंपरिक रूप से भव्य शोभायात्रा निकाली गई। इसमें देवी और देवता के सैकड़ों देवलुओं और हजारों लोगों ने शिकरत की और उनका का आशीर्वाद लिया। नौ दिन चलने वाले जिला स्तरीय कुथाह मेले का शुभारंभ करने पहुंचीं एसपी का मेला कमेटी के अध्यक्ष तहसीलदार थुनाग दीक्षांत ठाकुर ने स्वागत किया।
शोभायात्रा के दौरान वाद्ययंत्रों की धुनों से कुथाह का माहौल धार्मिक हो गया। इस अवसर पर स्कूल के छात्र-छात्राओं और महिला मंडलों ने पारंपरिक परिधानों में शोभायात्रा में शिरकत की। इसके बाद सांस्कृतिक कार्यक्रम भी प्रस्तुत किए गए। इस अवसर पर एसपी मंडी सौम्य सांबशिवन ने कहा कि मेले और पर्व किसी भी देश और प्रदेश की अमूल्य धरोहर होती हैं। यही वह मौके होते हैं जिनसे सामाजिक एकता बनती है और भाइचारे की भावना होती है।
उन्होंने कहा कि हम भाईचारे को लेकर हमेशा एक रहे और अपनी संस्कृति को हमेशा बरकरार रखें। इस अवसर पर डीएसपी करसोग गीतांजलि ठाकुर, कांग्रेस प्रदेश सचिव जगदीश रेड्डी, ग्राम पंचायत तुंगाधार के प्रधान हेमराज ठाकुर, थाना प्रभारी जंजैहली रूप सिंह ठाकुर आदि मौजूद रहे।
गुच्छियों के कारोबार के लिए मशहूर है मेला
सराज घाटी के कुथाह में मनाए जाने वाला जिला स्तरीय कुथाह मेला व्यापारिक दृष्टि से बहुत ही महत्वपूर्ण है। मेले में अच्छा-खासा कारोबार होता है। इसके अलावा मेला गुच्छियों के व्यापार के लिए भी विख्यात है। इस मेले में हर साल कई लाखों का गुच्छी का कारोबार होता है। घाटी के लोग पूरे सीजन में इकट्ठा की गई गुच्छी इस मेले में बेचते हैं जिसके चलते लोगों को गुच्छी का अच्छा खासा दाम भी मिल जाता है। मेले में सैैकड़ों लोग कारोबारियों को गुच्छी बेचते हैं।
सांस्कृतिक और खेलकूद कमेटियां नहीं हुईं गठित
कुथाह मेले का आयोजन को लेकर अभी तक पूर्ण रूप से कोई भी रूपरेखा तैयार नहीं की गई है। एक तरफ जहां पर प्रशासन ने मेला आरंभ कर दिया है, वहीं दूसरी तरफ अभी तक तैयारियां पूरी नहीं हो पाई हैं। मेले में सांस्कृतिक संध्या, खेलकूद प्रतियोगिताओं के लिए अभी तक प्रशासन की ओर से कोई भी कमेटी नहीं बनाई है।