Kullu News: कुल्लू जिले में भारी बारिश, बादल फटने और भूस्खलन से हुए भारी नुकसान का जायजा लेने पहुंची अंतर मंत्रालयी केंद्रीय टीम ने सोमवार को मनाली क्षेत्र का दौरा किया। टीम ने सोलंगनाला पंचायत के लोगों से बातचीत की, जिन्होंने गांव के लगातार धंसने और बेघर होने के खतरे की गंभीर समस्या से अवगत कराया। टीम ने प्रभावित क्षेत्रों का निरीक्षण कर आपदा पीड़ितों की समस्याएं सुनीं।
केंद्रीय टीम के सदस्यों से सोलंगनाला पंचायत के प्रधान कौशल्या देवी के नेतृत्व में स्थानीय लोग मिले। ग्रामीणों ने टीम को बताया कि उनका पूरा गांव धीरे-धीरे धंस रहा है। इस स्थिति ने उन सभी को बेघर होने के खतरे में डाल दिया है। टीम ने ग्रामीणों की बातों को गंभीरता से सुना और उनकी चिंताओं को नोट किया।
सोमवार को टीम ने सोलंग गांव, बाहंग और ओल्ड मनाली स्थित मनालसु नाला का दौरा किया। इसके अलावा टीम ने अलेउ, ग्रीन टैक्स बैरियर के पास उप सब्जी मंडी चौरीबिहाल, आलू ग्राउंड और पतलीकूहल का भी निरीक्षण किया। टीम ने छरुडू, लंकाबेकर, इनर अखाड़ा बाजार और सूम्मा क्षेत्र में हुए नुकसान का आकलन किया।
चंबा और कांगड़ा में दूसरी टीम
केंद्र सरकार ने हिमाचल प्रदेश में मानसून से हुए नुकसान का आकलन करने के लिए दो अलग-अलग टीमें भेजी हैं। टीम-ए जिला चंबा और कांगड़ा के दौरे पर है। टीम-बी ने जिला कुल्लू के मनाली क्षेत्र में नुकसान का जायजा लिया। यह टीमें अपनी रिपोर्ट केंद्र सरकार को सौंपेंगी।
टीम-बी ने मनाली में सड़कों, पुलों, स्वास्थ्य संस्थानों और शिक्षण संस्थानों का निरीक्षण किया। उन्होंने बिजली और पानी की आपूर्ति योजनाओं को हुए नुकसान का भी आकलन किया। इन ढांचों को भारी बारिश और भूस्खलन से काफी नुकसान पहुंचा है।
केंद्रीय टीम के सदस्य
केंद्रीय टीम में गृह मंत्रालय के संयुक्त सचिव पार्थसारथी शामिल थे। टीम में जल शक्ति मंत्रालय के अंतर्गत केंद्रीय जल निगम के निदेशक वसीम अशरफ भी उपस्थित थे। सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय के मुख्य अभियंता अनिल कुमार कुशवाहा ने भी टीम का नेतृत्व किया।
प्रदेश सरकार की ओर से संयुक्त सचिव निशांत ठाकुर टीम के साथ थे। एचआरटीसी के कार्यकारी निदेशक मुरारी लाल और टीसीबी स्पेशलिस्ट डॉ. कृष्ण चंद ने भी टीम का साथ दिया। यह टीम स्थानीय प्रशासन के साथ मिलकर काम कर रही है।
कुल्लू के उपायुक्त तोरुल रवीश ने बताया कि भारी बारिश और बाढ़ से सैकड़ों परिवार प्रभावित हुए हैं। उन्होंने कहा कि सड़क मार्ग, बिजली-पानी की सप्लाई, स्कूल और स्वास्थ्य केंद्रों को भारी नुकसान पहुंचा है। कृषि और बागवानी क्षेत्र भी बुरी तरह प्रभावित हुआ है।
अंतर मंत्रालयी केंद्रीय टीम के अध्यक्ष पार्थसारथी ने कहा कि जिला प्रशासन ने मानसून सीजन में हुए नुकसान की रिपोर्ट प्रस्तुत की है। दोनों टीमें नुकसान का जायजा लेकर इसका आकलन करेंगी। इसके बाद वे एक विस्तृत रिपोर्ट केंद्र सरकार को सौंपेंगी। यह रिपोर्ट सहायता के निर्धारण में महत्वपूर्ण होगी।
