India News: कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने 7 अगस्त 2025 को मोदी सरकार की विदेश नीति की आलोचना की। डोनाल्ड ट्रंप ने भारत पर 50% टैरिफ की धमकी दी। खरगे ने पीएम मोदी की चुप्पी पर सवाल उठाए। उन्होंने कहा कि यह भारत की सामरिक स्वायत्तता को नुकसान पहुंचाएगा। टैरिफ से 3.75 लाख करोड़ का आर्थिक बोझ पड़ेगा। खरगे ने इसे विदेश नीति की विफलता बताया।
ट्रंप की धमकी और मोदी की चुप्पी
खरगे ने कहा कि ट्रंप बार-बार भारत को धमकाते हैं। मोदी चुप रहते हैं। ट्रंप ने 30 बार युद्धविराम मध्यस्थता का दावा किया। 30 नवंबर 2024 को ट्रंप ने ब्रिक्स पर 100% टैरिफ की धमकी दी। मोदी वहां मुस्कराते रहे। खरगे ने इसे कूटनीति की नाकामी बताया। ट्रंप ने भारत-रूस संबंधों पर तंज कसा। खरगे ने पूछा कि मोदी जवाब क्यों नहीं देते। यह राष्ट्रीय हितों को नुकसान पहुंचाता है।
टैरिफ का आर्थिक प्रभाव
ट्रंप के 50% टैरिफ से भारत को बड़ा नुकसान होगा। खरगे ने कहा कि 3.75 लाख करोड़ का बोझ पड़ेगा। एमएसएमई, कृषि और डेयरी प्रभावित होंगे। इलेक्ट्रॉनिक सामान, रत्न, आभूषण और पेट्रोलियम उत्पादों पर असर पड़ेगा। भारत का 7.51 लाख करोड़ का अमेरिकी निर्यात खतरे में है। खरगे ने कहा कि सरकार ने कोई तैयारी नहीं की। उद्योगों को भारी नुकसान होगा।
विदेश नीति पर सवाल
खरगे ने मोदी सरकार की विदेश नीति को कमजोर बताया। उन्होंने कहा कि गुटनिरपेक्षता भारत की नीति का आधार रही। UPA सरकार ने 45 देशों से परमाणु छूट हासिल की। भारत के विकल्प खुले रहे। ट्रंप ने भारत के रूस से तेल और हथियार खरीदने पर सवाल उठाए। ब्रिक्स सदस्यता को भी निशाना बनाया। खरगे ने इसे सामरिक स्वायत्तता पर हमला बताया।
व्यापार समझौते में नाकामी
मोदी सरकार के मंत्री महीनों से अमेरिका के साथ व्यापार समझौते की बात करते रहे। कई ने वाशिंगटन में समय बिताया। खरगे ने कहा कि सरकार छह महीने में समझौता नहीं कर सकी। ट्रंप ने भारत को दंडित किया। खरगे ने पूछा कि ‘नमस्ते ट्रंप’ और ‘अबकी बार ट्रंप सरकार’ के नारे का यह नतीजा है। सरकार की कूटनीति विफल रही। राष्ट्रीय हितों की रक्षा जरूरी है।
अमेरिका-पाकिस्तान-चीन गठजोड़ की चिंता
खरगे ने अमेरिका, पाकिस्तान और चीन के गठजोड़ पर चिंता जताई। ट्रंप ने पाकिस्तान के साथ तेल सौदे की बात की। भारत को धमकी दी। खरगे ने पूछा कि मोदी क्यों चुप हैं। उन्होंने कहा कि सरकार को पीआर की जगह देश पर ध्यान देना चाहिए। सामरिक स्वायत्तता को नुकसान पहुंचा। खरगे ने कहा कि यह विदेश नीति की सबसे बड़ी विफलता है। कांग्रेस हमेशा देश के साथ है।
