Himachal News: हिमाचल प्रदेश स्कूल शिक्षा बोर्ड ने 10वीं कक्षा के छात्रों के लिए बड़ा फैसला लिया है। बोर्ड शैक्षणिक सत्र 2025-26 से साल में दो बार परीक्षाएं आयोजित करेगा। यह नई व्यवस्था राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 के आधार पर लागू की गई है। इसमें छात्रों को अपने अंक सुधारने का बेहतरीन मौका मिलेगा। HP बोर्ड की इस पहल से हजारों छात्रों को तनाव मुक्त परीक्षा देने में मदद मिलेगी।
परीक्षा का शेड्यूल और प्रक्रिया
बोर्ड सचिव डॉ. मेजर विशाल शर्मा ने इस नई नीति की जानकारी दी है। पहली मुख्य परीक्षा फरवरी-मार्च में आयोजित होगी। इसके बाद दूसरी परीक्षा जून-जुलाई में सुधार परीक्षा के रूप में होगी। छात्रों के पास दोनों परीक्षाओं में से बेहतर अंक चुनने का विकल्प होगा। बोर्ड प्रशासन ने इसे लेकर अधिसूचना जारी कर दी है।
छात्रों को तीन श्रेणियों में बांटा जाएगा
मुख्य परीक्षा के परिणाम के आधार पर छात्रों को तीन अलग-अलग श्रेणियों में रखा जाएगा। ये श्रेणियां आवश्यक सुधार, वैकल्पिक सुधार और अनिवार्य पुनरावृत्ति हैं। आवश्यक सुधार श्रेणी वाले छात्र दो विषयों में दोबारा परीक्षा दे सकते हैं। जो छात्र सभी विषयों में पास हैं, वे तीन विषयों तक सुधार परीक्षा दे सकेंगे।
अनुपस्थित और फेल छात्रों के लिए नियम
नियमों के अनुसार तीन से कम विषयों में पास होने वाले छात्र दूसरी परीक्षा के पात्र नहीं होंगे। अगर कोई छात्र बीमारी, दुर्घटना या खेल गतिविधियों के कारण पहली परीक्षा नहीं दे पाता है, तो उसे दूसरा मौका मिलेगा। पहली परीक्षा का परिणाम अप्रैल-मई तक और दूसरी का जुलाई-अगस्त तक घोषित किया जाएगा।
11वीं कक्षा में प्रवेश प्रक्रिया
बोर्ड ने अगली कक्षा में प्रवेश को लेकर भी स्थिति स्पष्ट की है। आवश्यक सुधार श्रेणी वाले छात्रों को 11वीं कक्षा में अस्थायी प्रवेश दिया जाएगा। हालांकि, इसके लिए उन्हें नियमों के तहत 10वीं की परीक्षा पास करनी होगी। अंतिम परिणाम में दोनों परीक्षाओं में से सर्वश्रेष्ठ अंकों को ही मान्य माना जाएगा।
