शुक्रवार, दिसम्बर 19, 2025

हिमाचल प्रदेश: सरकारी स्कूल में अध्यापक पर छात्रा से अभद्र व्यवहार के आरोप, विभाग ने किया सस्पेंड

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Himachal News: हिमाचल प्रदेश के सलूणी उपमंडल में एक सरकारी प्राथमिक स्कूल के अध्यापक पर गंभीर आरोप लगे हैं। आरोपी अध्यापक पर एक छात्रा के साथ अभद्र व्यवहार और अश्लील हरकतें करने का मामला सामने आया है। शिक्षा उपनिदेशक प्रारंभिक बलवीर सिंह ने आरंभिक जांच के बाद अध्यापक को निलंबित कर दिया है। इस मामले में पुलिस में एफआईआर दर्ज की जा रही है।

शिक्षा विभाग ने मामले की जांच के लिए बीईईओ सुंडला को जांच अधिकारी नियुक्त किया था। जांच अधिकारी ने कलस्टर अधिकारी, छात्रा की माता और सीएचटी के बयान दर्ज किए हैं। एसएमसी कमेटी के सदस्यों के बयान भी लिए गए हैं। आरोपी अध्यापक की ओर से लिखे गए माफीनामे को भी जांच में शामिल किया गया है।

मामला सामने आने का क्रम

यह मामला तब सामने आया जब आरोपी अध्यापक ने छात्रों के अभिभावकों से लिखित माफी मांगी। उसने मामले को अपने स्तर पर निपटाने की कोशिश की। लेकिन किसी व्यक्ति ने इस माफीनामे की कॉपी सोशल मीडिया पर वायरल कर दी। माफीनामे के वायरल होने के बाद शिक्षा विभाग सक्रिय हो गया। विभाग ने तत्काल मामले की जांच शुरू कर दी।

शिक्षा विभाग के ओएसडी उमाकांत आनंद ने बताया कि जांच का जिम्मा बीईईओ सुंडला को सौंपा गया। जांच अधिकारी ने सभी पक्षों के बयान दर्ज किए। इसके बाद आरोपी अध्यापक को निलंबित करने का फैसला लिया गया। विभाग ने आरोपी के खिलाफ कानूनी कार्रवाई भी शुरू कर दी है। पुलिस में मामला दर्ज करवाया जा रहा है।

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जांच प्रक्रिया और कार्रवाई

जांच अधिकारी ने व्यापक जांच प्रक्रिया अपनाई। उन्होंने मामले से जुड़े सभी लोगों के बयान दर्ज किए। छात्रा की मां से विस्तृत पूछताछ की गई। स्कूल प्रबंधन समिति के सदस्यों के बयान भी लिए गए। कलस्टर अधिकारी ने भी अपना पक्ष रखा। सोशल मीडिया पर माफीनामा वायरल करने वाले व्यक्ति के बयान भी दर्ज किए गए।

शिक्षा विभाग ने आरोपी अध्यापक के खिलाफ शिक्षा नियमावली के तहत कार्रवाई की है। उन्हें तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया गया है। विभाग ने पुलिस से संपर्क करके आपराधिक मामला दर्ज करवाने की प्रक्रिया शुरू कर दी है। बच्चियों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए हर संभव कदम उठाए जा रहे हैं।

शिक्षा विभाग की प्रतिक्रिया

शिक्षा उपनिदेशक प्रारंभिक बलवीर सिंह ने इस मामले में त्वरित कार्रवाई की। उन्होंने कहा कि ऐसे गंभीर मामलों में कोई समझौता नहीं किया जाएगा। विभाग ने बच्चों की सुरक्षा के लिए शून्य सहनशीलता की नीति अपनाई है। शिक्षा विभाग के ओएसडी उमाकांत आनंद ने भी जानकारी की पुष्टि की।

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उन्होंने बताया कि जांच पूरी तरह से निष्पक्ष और पारदर्शी तरीके से की जा रही है। मामले की गंभीरता को देखते हुए त्वरित कार्रवाई की गई है। भविष्य में ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए भी उपाय किए जाएंगे। सभी स्कूलों में बच्चों की सुरक्षा के मानकों की समीक्षा की जाएगी।

स्थानीय प्रतिक्रिया और प्रभाव

इस मामले ने स्थानीय स्तर पर व्यापक प्रतिक्रिया पैदा की है। अभिभावकों ने स्कूल प्रशासन से बच्चों की सुरक्षा के लिए कड़े उपायों की मांग की है। स्थानीय निवासी इस घटना से काफी आहत हैं। उनका कहना है कि स्कूल बच्चों के लिए सुरक्षित स्थान होना चाहिए।

शिक्षा विभाग के अधिकारी इस मामले में लगातार निगरानी बनाए हुए हैं। वे सुनिश्चित कर रहे हैं कि पीड़ित छात्रा और उसके परिवार को न्याय मिले। विभाग ने अन्य स्कूलों में भी समीक्षा के आदेश दिए हैं। बच्चों के साथ किसी भी प्रकार के दुर्व्यवहार की स्थिति में तत्काल कार्रवाई सुनिश्चित की जाएगी।

Poonam Sharma
Poonam Sharma
एलएलबी और स्नातक जर्नलिज्म, पत्रकारिता में 11 साल का अनुभव।

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