Kullu News: नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने हिमाचल प्रदेश सरकार पर मॉनसून आपदा प्रबंधन में विफलता के गंभीर आरोप लगाए हैं। उन्होंने कहा कि सरकार प्रभावितों तक समय पर राहत नहीं पहुंचा पा रही है और आपदा को राजनीतिक मुद्दा बना रही है। ठाकुर ने बताया कि प्रदेश में इस साल मॉनसून से भारी नुकसान हुआ है।
उन्होंने आपदा के आंकड़े साझा करते हुए बताया कि 45 बादल फटने की घटनाएं हुई हैं। 91 फ्लैश फ्लड और 105 भूस्खलन की घटनाओं में 360 लोगों की मौत हो चुकी है। अभी भी 47 लोग लापता हैं। करीब 1100 घर पूरी तरह ध्वस्त हो गए हैं।
ठाकुर ने कहा कि प्रदेश की 800 से अधिक सड़कें अभी भी बंद हैं। लगभग 400 पानी की योजनाएं ठप पड़ी हैं। करीब 2400 ट्रांसफार्मर काम नहीं कर रहे हैं। उन्होंने बताया कि अब तक करीब 3997 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ है।
नेता प्रतिपक्ष ने राहत वितरण में अनियमितताओं की ओर भी इशारा किया। उन्होंने कहा कि राहत अक्सर प्रभावितों तक नहीं पहुंच पा रही है। उन्होंने मुख्यमंत्री पर ध्यान केंद्रित न करने का आरोप लगाया। ठाकुर ने कहा कि कांग्रेस के कार्यकर्ता राहत कार्यों में दिखाई नहीं दे रहे हैं।
ठाकुर ने पिछले साल की आपदा का उदाहरण दिया। उन्होंने बताया कि 4500 करोड़ रुपये के पैकेज की घोषणा हुई थी। लेकिन मात्र 300 करोड़ रुपये ही खर्च किए गए। तीन बिस्वा जमीन देने की योजना भी लागू नहीं हो पाई। उन्होंने प्रभावितों के साथ वादा खिलाफी को अपराध बताया।
उन्होंने कहा कि अभी भी कई ऐसे स्थान हैं जहां प्रशासन नहीं पहुंचा है। ठाकुर ने सरकार पर राजनीति करने का आरोप लगाया। उन्होंने कम्यूनिटी सेंटर बनाने की आवश्यकता पर जोर दिया। इससे प्रभावितों को छत और शौचालय जैसी सुविधाएं मिल सकेंगी।
ठाकुर ने मकान बनाकर देने की नीति का सुझाव दिया। उन्होंने कहा कि जिनके घर बह गए हैं, उन्हें नकद राहत के बजाय मकान बनाकर दिए जाने चाहिए। इससे पुनर्वास प्रक्रिया अधिक प्रभावी होगी। उन्होंने तत्काल राहत कार्यों पर ध्यान देने की मांग की।
