Himachal News: हिमाचल प्रदेश में लगातार तीन दिनों की मूसलाधार बारिश ने जनजीवन अस्त-व्यस्त कर दिया है। चम्बा में रावी नदी के उफान पर आने से नौ मकान बह गए, जिन्हें पहले ही खाली करवाया गया था। कुल्लू जिला पूरी तरह से दुनिया से कट गया है जबकि बिलासपुर में भी एक मकान जमींदोज हुआ है। प्रदेश में अब तक 310 लोगों की मौत हो चुकी है।
बुनियादी ढांचे को भारी नुकसान
लगातार बारिश ने प्रदेश के बुनियादी ढांचे को गंभीर नुकसान पहुंचाया है। कुल्लू, मनाली और मंडी में बीस से अधिक घर और दुकानें नदी में बह गईं। चंडीगढ़-मनाली फोरलेन हाईवे को जगह-जगह नुकसान पहुंचा है। कई सैलानी फंसे हुए हैं जिन्हें सुरक्षित निकालने का काम चल रहा है।
वर्षा के आंकड़े
पिछले 27 दिनों में प्रदेश में सामान्य से 62 प्रतिशत अधिक बारिश दर्ज की गई। सामान्य 234.8 मिलीमीटर के मुकाबले 381 मिलीमीटर वर्षा हुई। कुल्लू में 152 मिमी, ऊना में 122 मिमी, सोलन में 110 मिमी और शिमला में 105 मिमी अतिरिक्त वर्षा दर्ज की गई। मौसम विभाग ने अगले छह दिनों तक भारी बारिश की चेतावनी जारी की है।
यातायात और आवागमन प्रभावित
प्रदेश में दो राष्ट्रीय राजमार्ग और 582 संपर्क मार्ग बंद हैं। बिजली आपूर्ति भी प्रभावित हुई है जहां 1155 ट्रांसफार्मर काम करना बंद कर चुके हैं। 346 पेयजल योजनाएं ठप पड़ी हैं जिससे लोगों को पीने के पानी की किल्लत का सामना करना पड़ रहा है। सुरक्षा कारणों से कुल्लू, मंडी और चम्बा में शैक्षणिक संस्थान बंद रखे गए हैं।
राज्य को भारी आर्थिक नुकसान
20 जून से शुरू हुए मानसून सीजन में राज्य को 2623.36 करोड़ रुपये का आर्थिक नुकसान हुआ है। अब तक 369 लोग घायल हुए हैं जबकि 38 लोग अभी भी लापता हैं। राज्य में भूस्खलन की 85 घटनाएं, फ्लैश फ्लड की 90 घटनाएं और बादल फटने की 42 घटनाएं दर्ज की गई हैं।
