Himachal News: हिमाचल प्रदेश पथ परिवहन निगम (HRTC) की बस में यात्रियों के साथ दुर्व्यवहार का एक और मामला सामने आया है। रोहडू के मेहंदली स्थित फल मंडी के पास एक बागवान को बस कंडक्टर ने खुले पैसे न होने के कारण बारिश में उतार दिया। यह घटना HRTC की सेवाओं पर सवाल खड़े करती है।
HRTC बस में यात्री के साथ दुर्व्यवहार
एक बागवान ने रोहडू से हाटकोटी जाने के लिए HRTC की बस संख्या HP 10 A 7390 में सवारी की। बस में चढ़ते ही कंडक्टर ने किराया मांगा। यात्री ने 500 रुपये का नोट दिया, लेकिन कंडक्टर के पास खुले पैसे नहीं थे। उसने यात्री से ऑनलाइन भुगतान करने को कहा, लेकिन यूपीआई सर्वर डाउन होने के कारण यह संभव नहीं हो सका।
बारिश में पैदल चलने को मजबूर
कंडक्टर ने बस रोककर यात्री को उतार दिया और कहा कि अगली बस में चढ़ जाएं। मजबूरन बागवान को तेज बारिश में 500 मीटर पैदल चलना पड़ा। बाद में किसी परिचित ने उसे लिफ्ट देकर रोहडू पहुंचाया। यात्री ने इस दौरान बस की तस्वीर भी खींच ली।
कंडक्टर की जिम्मेदारी पर सवाल
HRTC के नियमों के अनुसार, बस कंडक्टर का दायित्व है कि वह यात्रियों को खुले पैसे उपलब्ध कराए। अगर यात्री के पास ऑनलाइन भुगतान का विकल्प नहीं है, तो कंडक्टर को ही व्यवस्था करनी चाहिए। इस घटना ने HRTC की सेवाओं को लेकर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं।
पहले भी आ चुके हैं ऐसे मामले
स्थानीय लोगों का कहना है कि HRTC बसों में ऐसी शिकायतें पहले भी सामने आ चुकी हैं। कई यात्रियों ने कंडक्टरों के रवैये की शिकायत की है। HRTC प्रशासन को इस मामले में संज्ञान लेते हुए कड़ी कार्रवाई करनी चाहिए।
इस घटना ने सार्वजनिक परिवहन सेवाओं में सुधार की जरूरत को एक बार फिर उजागर किया है। यात्रियों के साथ सम्मानजनक व्यवहार और बेहतर सुविधाएं उपलब्ध कराना HRTC की प्राथमिकता होनी चाहिए।
