Himachal Pradesh News: हिमाचल प्रदेश में शिक्षा विभाग में बड़ा बदलाव होने जा रहा है। नए शैक्षणिक सत्र की शुरुआत के साथ ही मार्च में पांच हजार शिक्षकों के एक साथ तबादले किए जाएंगे। यह इतना बड़ा फेरबदल पहली बार होगा। विभाग में इसकी तैयारियां तेज हो गई हैं।
सीबीएसई से संबद्ध स्कूलों के लिए शिक्षकों का एक अलग सब कैडर बनाया जाएगा। इस कैडर में शामिल होने के लिए चयन परीक्षा आयोजित की जाएगी। केवल उत्तीर्ण शिक्षकों को ही इस कैडर में रखा जाएगा। स्कूल शिक्षा निदेशालय ने प्रस्ताव सरकार को भेज दिया है।
सब कैडर के लिए तीन विकल्प
सरकार ने सब कैडर के लिए तीन विकल्प रखे हैं। पहला विकल्प एक चयन परीक्षा का है। इससे योग्य शिक्षकों का चुनाव किया जाएगा। दूसरा विकल्प पहले से सीबीएसई स्कूलों में पढ़ा रहे शिक्षकों को कैडर में लेने का है।
तीसरा विकल्प नई भर्ती करने का है। कैबिनेट की बैठक में इन विकल्पों पर अंतिम निर्णय लिया जाएगा। सरकार का लक्ष्य शिक्षा की गुणवत्ता में सुधार लाना है। इसके लिए एक पारदर्शी प्रक्रिया अपनाई जाएगी।
चयन परीक्षा फरवरी 2026 में
शिक्षा सचिव राकेश कंवर की हालिया बैठक में निर्णय लिया गया है। चयन परीक्षा फरवरी 2026 में आयोजित की जाएगी। स्कूल शिक्षा बोर्ड धर्मशाला इस परीक्षा का आयोजन करेगा। परीक्षा से प्रधानाचार्य, शिक्षक और गैरशिक्षण कर्मचारियों का चयन होगा।
चयन में शैक्षणिक उत्कृष्टता और सह-पाठ्यक्रम गतिविधियों में योगदान को भी आधार बनाया जाएगा। इसका उद्देश्य सर्वश्रेष्ठ प्रतिभाओं को चुनना है। यह कदम शिक्षा के स्तर को ऊपर उठाने में मदद करेगा।
87 स्कूलों को मिल चुकी है संबद्धता
हिमाचल प्रदेश में 100 स्कूलों को सीबीएसई संबद्धता दिलाने का लक्ष्य है। अब तक 87 स्कूलों को यह संबद्धता मिल चुकी है। ये स्कूल अब नए सब कैडर के अंतर्गत आएंगे। इन स्कूलों में काम कर रहे शिक्षकों के लिए नए नियम लागू होंगे।
जो शिक्षक चयन परीक्षा नहीं देंगे या कैडर में नहीं आना चाहेंगे, उन्हें स्कूल से हटना पड़ सकता है। अधिकारियों का मानना है कि इससे शिक्षकों की योग्यता सुनिश्चित होगी। साथ ही शिक्षण का मानकीकरण भी होगा।
विभाग में उथल-पुथल की संभावना
मार्च में बीच सत्र के तबादलों और सेवानिवृत्ति पर लगा प्रतिबंध हट जाएगा। सामान्य तबादलों पर लगा प्रतिबंध भी समाप्त होगा। इससे विभाग में धड़ाधड़ तबादले होंगे। इससे एक बड़ी उथल-पुथल की स्थिति पैदा हो सकती है।
विभाग ने तैयारियां शुरू कर दी हैं। रिक्त पदों की सूची अपडेट की जा रही है। पदोन्नति और सेवानिवृत्ति की सूचियां भी तैयार हैं। इन सभी आंकड़ों के आधार पर तबादलों की प्रक्रिया पूरी की जाएगी।
शहरी स्कूलों पर विशेष ध्यान
शहर और आसपास के स्कूलों में कई शिक्षक लंबे समय से तैनात हैं। इनमें से अधिकतर स्कूल अब सीबीएसई से संबद्ध हो चुके हैं। नई व्यवस्था में इन स्कूलों के शिक्षकों को परीक्षा देनी होगी। इससे एक निष्पक्ष व्यवस्था कायम होगी।
अधिकारियों का कहना है कि इससे राजनीतिक और प्रशासनिक दबाव कम होंगे। शिक्षकों का चयन योग्यता के आधार पर होगा। इससे शिक्षा के स्तर में सुधार आने की उम्मीद है। विद्यार्थियों को बेहतर शिक्षा मिल सकेगी।
