World News: हिंदुजा ग्रुप के चेयरमैन गोपिचंद पी. हिंदुजा का मंगलवार को लंदन में निधन हो गया। वह 85 वर्ष के थे। ब्रिटिश संसद सदस्य रामी रेंजर ने इस दुखद समाचार की पुष्टि की। गोपिचंद हिंदुजा ब्रिटेन के सबसे धनी व्यक्ति थे और उनके निधन से उद्योग जगत में शोक की लहर दौड़ गई है।
स्वास्थ्य समस्याओं के चलते हुआ निधन
पारिवारिक सूत्रों के अनुसार गोपिचंद हिंदुजा का निधन स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं के कारण हुआ। वह लंदन के एक अस्पताल में भर्ती थे। हिंदुजा ग्रुप की तरफ से अभी तक आधिकारिक बयान जारी नहीं किया गया है। सोशल मीडिया पर उन्हें श्रद्धांजलि देने का सिलसिला जारी है।
गोपिचंद हिंदुजा का जन्म 29 जनवरी 1940 को मुंबई में हुआ था। उन्होंने जय हिंद कॉलेज से शिक्षा प्राप्त की। सन 1959 में उन्होंने पारिवारिक व्यवसाय में प्रवेश किया। हिंदुजा ग्रुप की स्थापना 1914 में उनके दादा पी.डी. हिंदुजा ने की थी।
वैश्विक व्यापार साम्राज्य का निर्माण
गोपिचंद हिंदुजा ने हिंदुजा ग्रुप का वैश्विक स्तर पर विस्तार किया। वह अपने बड़े भाई श्रीचंद हिंदुजा के साथ संयुक्त रूप से समूह के अध्यक्ष थे। श्रीचंद का मई 2023 में निधन हो गया था। इसके बाद गोपिचंद मुख्य अध्यक्ष बने थे।
हिंदुजा समूह के तहत बैंकिंग, ऑटोमोबाइल, मीडिया और बिजली क्षेत्र की कंपनियां शामिल हैं। इस समूह में दो लाख लोग कार्यरत हैं। सन 2025 की संडे टाइम्स रिच लिस्ट में हिंदुजा परिवार की संपत्ति 35.3 अरब पाउंड आंकी गई थी।
प्रमुख व्यवसाय और विवाद
हिंदुजा समूह के प्रमुख ब्रांडों में अशोक लेलैंड, इंडसइंड बैंक और गल्फ ऑयल शामिल हैं। गोपिचंद हिंदुजा ने बिजली और बुनियादी ढांचा क्षेत्र में समूह का विस्तार किया। समूह का मुख्यालय लंदन में स्थित है जबकि उनके भाई प्रकाश मोनाको में रहते हैं।
सन 1997 में ब्रिटिश नागरिकता लेने वाले गोपिचंद शाकाहारी और नशामुक्त जीवन जीते थे। सन 2001 में ‘कैश फॉर पासपोर्ट’ घोटाले में उनका नाम आया था। हालांकि वह इस मामले में बच गए थे। उन्होंने भारतीय व्यवसाय को वैश्विक पहचान दिलाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।
पारिवारिक जीवन और विरासत
गोपिचंद हिंदुजा के बेटे संजय हिंदुजा ने सन 2015 में डिजाइनर अनु महतानी से विवाह किया था। इस शादी पर 15 मिलियन पाउंड का खर्च आया था। विवाह समारोह में जेनिफर लोपेज जैसे अंतर्राष्ट्रीय सितारों ने शिरकत की थी।
हिंदुजा परिवार लगातार चौथी बार ब्रिटेन का सबसे अमीर परिवार बना था। गोपिचंद हिंदुजा का नाम टाटा और अंबानी जैसे प्रमुख उद्योगपतियों में शुमार होता था। उनके निधन से भारतीय उद्योग जगत को गहरा आघात लगा है। उनकी विरासत को आगे बढ़ाने की जिम्मेदारी अब अगली पीढ़ी पर है।
