
हिमाचल प्रदेश सरकार के वन मंत्री राकेश पठानिया के शिमला स्थित सरकारी आवास में एक नवग्रह वाटिका पर विवाद खड़ा हो गया है। इससे कोर एरिया में नियमों की धज्जियां उड़ाने के आरोप लगाए गए हैं।
अनावश्यक निर्माण और सरकारी फंड का दुरुपयोग करने की इस शिकायत पर प्रधान सचिव वन ने प्रधान मुख्य अरण्यपाल (हॉफ) को एक पत्र भेजा है और इस मामले की छानबीन कर इसकी रिपोर्ट तलब की है। इस मामले में जांच भी बैठा दी गई है। प्रधान सचिव वन की ओर से यह चिट्ठी (संख्या -एफएफई-बी-सी (1) -4/2022) 21 नवंबर 2022 को भेजी गई है, जो पिछले दिनों पीसीसीएफ (हॉफ) के कार्यालय में पहुंच गई है।
चूंकि मामला वन मंत्री के सरकारी आवास से संबंधित है तो इसलिए अधिकारियों के हाथ-पांव फूल गए हैं कि इस मामले में कैसे कार्रवाई करें। इस पत्र में सात नवंबर 2022 को मिली एक शिकायत का उल्लेख किया गया है। इसकी छानबीन कर इस संबंध में उपयुक्त कार्रवाई करने के आदेश दिए गए हैं। साथ ही कार्रवाई से सरकार को अवगत करवाने को भी कहा गया है।
वाटिका में नवग्रहों की शांति के लिए रोपे गए नौ तरह के पौधे
इस नवग्रह वाटिका में नवग्रहों की शांति के लिए पौधे रोपे गए हैं। इसके लिए मंत्री के सरकारी निवास के परिसर में वास्तु का अध्ययन कर एक सौर मंडल बनाया गया है। बीच में सूर्य की स्थापना की गई है तो चारों ओर आठ ग्रहों की स्थापना के साथ संबंधित पौधे रोपे गए हैं। आरोप यह है कि इसके लिए जो ढांचा बनाया गया है, उस पर जनता के लाखों रुपये खर्च किए गए हैं, जिससे बचा जा सकता था। यही नहीं, कोर एरिया में इस तरह का वर्जित निर्माण कर एनजीटी के आदेशों की धज्जियां भी उड़ाई गई हैं।
शिकायतकर्ता ने पीएमओ को भी भेजी है शिकायत
शिकायतकर्ता ने इस संबंध में प्रधानमंत्री कार्यालय को भी एक शिकायत भेजी है और उपयुक्त कार्रवाई करने की मांग की है। इसमें कहा गया है कि नगर नियोजन विभाग और नगर निगम एनजीटी के आदेशों का हवाला देते हुए आम लोगों को परेशान करते हैं। मगर बड़े लोगों के आवास पर नियमों की धज्जियां उड़ाकर निर्माण कार्य किए जा रहे हैं। इसमें अधिकारियों की मिलीभगत के भी आरोप हैं।