Punjab News: पंजाब कांग्रेस ने डॉ. नवजोत कौर सिद्धू को पार्टी से सस्पेंड कर दिया है। उन्होंने हाल ही में मुख्यमंत्री पद के लिए 500 करोड़ रुपये के लेनदेन की बात कही थी। इस विवादित बयान के बाद पार्टी ने उनकी प्राथमिक सदस्यता रद्द कर दी। इस फैसले से पार्टी के भीतर की कलह खुलकर सामने आ गई है। निलंबन के बाद डॉ. कौर ने प्रदेश अध्यक्ष अमरिंदर सिंह राजा वडिंग पर तीखा हमला बोला है।
राजा वडिंग पर लगाए गंभीर आरोप
डॉ. कौर ने अपने निलंबन पर कड़ी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष राजा वडिंग को नैतिक रूप से बेईमान बताया। उन्होंने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स (X) पर अपनी नाराजगी जाहिर की। कौर ने आरोप लगाया कि मुख्यमंत्री भगवंत मान वडिंग को बचा रहे हैं। उन्होंने दावा किया कि वडिंग जमीन कब्जाने और एससी/एसटी एक्ट जैसे मामलों में शामिल हैं। उनके अनुसार, वडिंग गिरफ्तारी से बचने के लिए सीएम मान के साथ मिल गए हैं।
क्या था 500 करोड़ का विवाद?
यह पूरा मामला एक इंटरव्यू से शुरू हुआ। डॉ. कौर ने कहा था कि 500 करोड़ रुपये का एक सूटकेस सीएम की कुर्सी पक्की कर सकता है। इस बयान ने राजनीतिक गलियारों में हलचल मचा दी। इसके अलावा, उन्होंने कांग्रेस उम्मीदवार करणबीर सिंह बुर्ज पर भी आरोप लगाए। उन्होंने कहा कि बुर्ज ने टिकट के लिए पार्टी नेताओं को 10 करोड़ रुपये दिए। हालांकि, बुर्ज ने इन दावों को झूठा बताया है। वह अपनी सच्चाई साबित करने के लिए गुरुद्वारे में कसम खाने को भी तैयार हैं।
नेताओं ने दी नसीहत
पार्टी के अन्य नेताओं ने डॉ. कौर के बयानों की आलोचना की है। पूर्व विधायक कुलदीप सिंह वैद ने उनसे लोगों को गुमराह न करने की अपील की। उन्होंने सवाल उठाया कि क्या नवजोत सिंह सिद्धू ने मंत्री बनने के लिए पैसे दिए थे? वहीं, विपक्षी दलों ने इस मौके का फायदा उठाया। बीजेपी और आप नेताओं ने कांग्रेस के अंदरूनी झगड़ों पर निशाना साधा। सांसद सुखजिंदर रंधावा ने भी इस विवाद पर दुख जताया है। उन्होंने माना कि आपसी लड़ाई पार्टी को बाहरी दुश्मनों से ज्यादा नुकसान पहुंचा रही है।
