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शुक्रवार, दिसम्बर 8, 2023

क्या आयुर्वेद की मदद से हार्ट ब्लॉकेज को ठीक किया जा सकता है?

Heart Blockage: हृदय रोग आज दुनिया भर में मौत का प्रमुख कारण बनता जा रहा है। रोग नियंत्रण केंद्र के अनुसार, हर चार में से एक मौत के लिए हृदय रोग जिम्मेदार है। धमनियों में रुकावट के कारण हृदय रोग इतना घातक हो जाता है कि यह व्यक्ति के लिए घातक साबित हो सकता है। जब हृदय को रक्त की आपूर्ति करने वाली धमनियां प्लाक से अवरुद्ध हो जाती हैं, तो वे संकीर्ण होने लगती हैं। इससे रक्त वाहिकाओं के कामकाज में बाधा आती है और दिल का दौरा पड़ने का खतरा बढ़ जाता है। आशा आयुर्वेदा की आयुर्वेदिक विशेषज्ञ डॉ. चंचल शर्मा का कहना है कि हार्ट ब्लॉकेज की समस्या किसी भी उम्र में हो सकती है, लेकिन यह ज्यादातर 30 साल की उम्र के बाद के लोगों में होती है। कई मामलों में देखा जाता है कि शुरुआत में लोग सुनकर बहुत घबराने लगते हैं। दरअसल, यह एक ऐसी बीमारी है जिसमें घबराने की नहीं बल्कि समझदारी से इलाज कराने की जरूरत है।

डॉ. चंचल कहती हैं, क्या आप जानते हैं कि एलोपैथी के अलावा आयुर्वेदिक पद्धति से भी हार्ट ब्लॉकेज खोलने का इलाज होता है। अधिकतर बदलती जीवनशैली, गतिहीन रहना और अत्यधिक कोलेस्ट्रॉल युक्त भोजन का सेवन करने से नसों में रक्त जमा होने से हृदय में ब्लॉकेज की समस्या हो सकती है। ज्यादातर लोगों में तनाव के कारण शरीर में टॉक्सिन एएमए जमा हो जाता है, जो धमनियों में जाकर उन्हें ब्लॉक कर देता है। इसे दूर करने के लिए आयुर्वेद में कई उपचारों के अलावा, हमारे पास प्रकृति के उपहार के रूप में कई प्राकृतिक औषधियां हैं जो एएमए को दूर करती हैं और हमें स्वस्थ रखती हैं।

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डॉ. चंचल का कहना है कि आयुर्वेद की प्राचीन पद्धति में कई प्राकृतिक औषधियों का वर्णन किया गया है, जिनके इस्तेमाल से हम हार्ट में ब्लॉकेज की समस्या को दूर कर सकते हैं। हमें यह भी नहीं पता कि हमारी रसोई में कई प्राकृतिक औषधियां मौजूद हैं। हार्ट ब्लॉकेज को निम्नलिखित घरेलू उपचारों से ठीक किया जा सकता है:

  • दालचीनी में ऑक्सीडाइजिंग एजेंट होते हैं और यह शरीर से खराब कोलेस्ट्रॉल को कम करके दिल को मजबूत बनाता है। इसके नियमित सेवन से न सिर्फ दिल मजबूत होता है बल्कि सांस की तकलीफ से भी राहत मिलती है और यह औषधि दिल की बीमारियों को भी कम करती है।
  • लहसुन में शरीर से सभी प्रकार के हानिकारक पदार्थों को बाहर निकालने की क्षमता होती है, जिससे हृदय को विषाक्त पदार्थों से बचाया जा सकता है।
  • अलसी के बीज में मछली से भी ज्यादा ओमेगा 3 फैटी एसिड होता है, जो दिल को स्वस्थ रखता है।
  • कोलेस्ट्रॉल लेवल को कम करने में अर्जुन की छाल सबसे महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है। इसकी छाल को पानी में उबालकर पीने से दिल स्वस्थ रहता है।
  • अश्वगंधा में एंटीऑक्सीडेंट के अलावा एंटी-इंफ्लेमेटरी तत्व भी मौजूद होते हैं जो हृदय रोगों को दूर करते हैं।

इसके अलावा डॉ. चंचल बताती हैं कि हार्ट ब्लॉकेज को खत्म करने के लिए कई जड़ी-बूटियों का इस्तेमाल किया जाता है जैसे अनार, लाल मिर्च, हल्दी, नींबू, अदरक, त्रिफला आदि। हार्ट ब्लॉकेज का सामान्य इलाज आयुर्वेदिक पंचकर्म से भी किया जा सकता है। पंचकर्म एक प्राचीन आयुर्वेदिक प्रणाली है जिसका उपयोग शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य में सुधार के लिए किया जाता है। हार्ट ब्लॉक की समस्या से बचने के लिए अपने आहार और जीवनशैली में बदलाव करना बहुत जरूरी है। आपको तनाव कम करने, पर्याप्त आराम करने, धूम्रपान और शराब के सेवन से बचने पर भी ध्यान देना चाहिए जो हृदय की रुकावट को बढ़ा सकते हैं। यकीन मानिए, एक बदलाव से आप अपनी सेहत सुधार सकते हैं।

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