Dhaka News: Bangladesh News की दुनिया में सन्नाटा पसर गया है. देश का मीडिया अब अस्तित्व की लड़ाई लड़ रहा है. हालात इतने खराब हैं कि पत्रकारों को अभिव्यक्ति की आजादी से ज्यादा अपनी जान की फिक्र सता रही है. उपद्रवियों ने ढाका में दो बड़े अखबारों के दफ्तरों को आग के हवाले कर दिया. देश के प्रमुख संपादकों ने इसे लोकतंत्र के लिए काला दिन बताया है.
पत्रकारों को जिंदा जलाने की साजिश
यह खौफनाक मंजर ‘प्रथम आलो’ और ‘द डेली स्टार’ के दफ्तरों में देखने को मिला. युवा नेता शरीफ उस्मान हादी की हत्या की खबर फैलते ही भीड़ बेकाबू हो गई. गुरुवार रात को गुस्साई भीड़ ने इन दोनों अखबारों के कार्यालयों में जमकर तोड़-फोड़ की. इसके बाद उन्होंने इमारतों में आग लगा दी. Bangladesh News में ऐसी हिंसा पहले कभी नहीं देखी गई.
छत पर फंसे रहे 27 लोग, फायर ब्रिगेड को रोका
इस हमले के दौरान कई पत्रकार और कर्मचारी घंटों तक आग के बीच फंसे रहे. द डेली स्टार के संपादक महफूज अनम ने बड़ा खुलासा किया है. उनका कहना है कि हमलावरों का मकसद पत्रकारों को जान से मारना था. उन्होंने आग लगाने से पहले किसी को बाहर निकलने का मौका नहीं दिया. करीब 27 मीडियाकर्मी छत पर अपनी जान बचाने के लिए छिपे रहे. भीड़ ने फायर ब्रिगेड को भी उन तक पहुंचने से रोक दिया.
पुलिस की सफाई- ‘एक्शन लेते तो बिगड़ जाती बात’
ढाका पुलिस ने अपनी देरी का अजीब बचाव किया है. पुलिस कमिश्नर नजरुल इस्लाम ने कहा कि उन्होंने तत्काल कार्रवाई इसलिए नहीं की ताकि जानमाल का नुकसान न हो. पुलिस और फायर ब्रिगेड के पहुंचने के बाद ही लोगों को सुरक्षित बाहर निकाला जा सका. Bangladesh News की रिपोर्टिंग कर रहे पत्रकारों में अब गहरा डर बैठ गया है.
शेख हसीना का नाम लेकर किया हमला
मोहम्मद यूनुस की अंतरिम सरकार ने कार्रवाई शुरू कर दी है. हमलों के सिलसिले में अब तक नौ लोगों को गिरफ्तार किया गया है. हमलावरों का आरोप था कि ये मीडिया हाउस भारत और पूर्व पीएम शेख हसीना के हितों के लिए काम कर रहे हैं. इसके अलावा सांस्कृतिक संगठनों छायानाट और उदिची शिल्पी गोष्ठी के दफ्तरों को भी निशाना बनाया गया.
क्यों सुलग रहा है बांग्लादेश?
इस हिंसा की मुख्य वजह 32 वर्षीय युवा नेता शरीफ ओस्मान हादी की मौत है. वह पिछले साल के विद्रोह का अहम चेहरा थे. हादी आगामी 12 फरवरी के चुनाव में उम्मीदवार भी थे. अज्ञात हमलावरों ने उनकी हत्या कर दी. इसके बाद से ही पूरे देश में हिंसा भड़क गई है. अवामी लीग समर्थकों और अल्पसंख्यकों पर हमले तेज हो गए हैं.
