World News: सोशल मीडिया पर एक चौंकाने वाली भविष्यवाणी तेजी से वायरल हो रही है। इसके मुताबिक, अमेरिका जल्द ही दो हिस्सों में बंट सकता है। यह भविष्यवाणी ज्योतिषी प्रज्ञा मिश्रा ने की है। उन्होंने दावा किया है कि डोनाल्ड ट्रंप अमेरिका के आखिरी राष्ट्रपति साबित होंगे। उनके अनुसार, जुलाई 2027 तक सोवियत संघ की तरह अमेरिका का पतन हो जाएगा।
यह पहली बार नहीं है जब अमेरिका के विभाजन की बात सामने आई है। देश के इतिहास में एक बार ऐसा हो चुका है। 1861 में अमेरिका गृहयुद्ध की चपेट में आ गया था। वैचारिक मतभेदों के चलते देश दो हिस्सों में बंट गया। एक तरफ संयुक्त राज्य अमेरिका था तो दूसरी तरफ कॉन्फेडरेट स्टेट्स ऑफ अमेरिका बना।
गुलामी की प्रथा थी मुख्य वजह
इस विभाजन की मुख्य वजह दास प्रथा थी। राष्ट्रपति अब्राहम लिंकन दास प्रथा को खत्म करना चाहते थे। इसके विरोध में दक्षिणी राज्यों ने विद्रोह कर दिया। फरवरी 1861 में छह दक्षिणी राज्यों ने मिलकर एक नए देश की स्थापना की। इसका नाम रखा गया कॉन्फेडरेट स्टेट्स ऑफ अमेरिका।
इन राज्यों ने जेफरसन डेविस को अपना राष्ट्रपति चुना। उन्होंने रिचमंड, वर्जीनिया को अपनी राजधानी बनाया। इस नए देश का अपना झंडा और सरकार थी। बाद में टेक्सास सहित कुल ग्यारह राज्य इस संघ में शामिल हो गए।
पांच साल तक चला था भीषण गृहयुद्ध
इस विभाजन के बाद अमेरिका में भीषण गृहयुद्ध छिड़ गया। यह युद्ध पांच साल तक चला। इसमें लाखों लोगों की जान गई। अंततः संयुक्त राज्य अमेरिका की सेना ने विजय हासिल की। कॉन्फेडरेट स्टेट्स ऑफ अमेरिका को किसी भी देश ने मान्यता नहीं दी थी।
युद्ध समाप्त होने के बाद सभी विद्रोही राज्यों पर फिर से अमेरिका का कब्जा हो गया। देश फिर से एक संघ के रूप में बदल गया। उस समय अमेरिका में कुल अड़तालीस राज्य थे। बाद में अलास्का और हवाई के शामिल होने से यह संख्या पचास हो गई।
सोशल मीडिया पर ज्योतिषी की भविष्यवाणी
वर्तमान में वायरल हो रही भविष्वाणी प्रज्ञा मिश्रा ने की है। वह एक ज्योतिषी और वास्तु विशेषज्ञ हैं। उनकी भविष्यवाणी के अनुसार, डोनाल्ड ट्रंप अमेरिका के अंतिम राष्ट्रपति होंगे। जुलाई 2027 से पहले अमेरिका का पतन हो जाएगा।
उनका दावा है कि अमेरिका दो या तीन राज्यों में टूट जाएगा। इस भविष्यवाणी ने सोशल मीडिया पर तूफान ला दिया है। लोग इस पर जमकर चर्चा कर रहे हैं। हालांकि, इस भविष्यवाणी की सटीकता को लेकर सवाल उठ रहे हैं।
प्रज्ञा मिश्रा की भविष्यवाणियां अक्सर भविष्य की घटनाओं पर केंद्रित रहती हैं। उदाहरण के लिए, भारत का संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की सदस्यता पाना। लेकिन अब तक उनकी कोई भविष्यवाणी सिद्ध नहीं हुई है। इस बारे में कोई पुख्ता सबूत भी नहीं मिले हैं।
अमेरिका के विभाजन का ऐतिहासिक संदर्भ
1861 का विभाजन अमेरिका के इतिहास का एक अहम हिस्सा है। यह विभाजन स्थायी नहीं रहा। गृहयुद्ध के बाद देश फिर से एक हो गया। तब से अमेरिका एक शक्तिशाली राष्ट्र के रूप में उभरा है। अमेरिका की अर्थव्यवस्था और सेना दुनिया में सबसे मजबूत मानी जाती है।
वर्तमान राजनीतिक परिदृश्य में अमेरिका में आंतरिक मतभेद देखने को मिलते हैं। लेकिन देश के फिर से विभाजन की संभावना को इतिहासकार गंभीरता से नहीं लेते। अमेरिकी संविधान और लोकतंत्र मजबूत स्थिति में हैं।
भविष्यवाणियों की सत्यता पर सवाल
इस तरह की भविष्यवाणियां अक्सर सोशल मीडिया पर वायरल होती रहती हैं। इनमें से ज्यादातर की कोई ऐतिहासिक या तार्किक बुनियाद नहीं होती। विशेषज्ञों का मानना है कि ऐसी भविष्यवाणियों पर विश्वास करने से पहले तथ्यों की जांच जरूरी है।
अमेरिका की वर्तमान स्थिति को देखते हुए यह भविष्यवाणी अटकलबाजी लगती है। देश की आंतरिक एकजुटता और संवैधानिक ढांचा मजबूत है। ऐसे में निकट भविष्य में विभाजन की संभावना नहीं दिखाई देती।
